टीम इंडिया के लिए सिर्फ मेहमान बनकर रह गए हैं ये 3 युवा खिलाड़ी, गौतम गंभीर की मर्जी के हिसाब से होते हैं अंदर-बाहर

Published - 10 Jan 2025, 07:39 AM

Gautam Gambhir ,  Team India , Axar Patel

Gautam Gambhir: गौतम गंभीर अपने कड़े फैसलों के लिए जाने जाते हैं। ऐसा उनके टीम इंडिया के कोच बनने के बाद भी देखने को मिला। लेकिन फैसलों की वजह से टीम इंडिया में तीन ऐसे खिलाड़ियों की एंट्री रुक गई है, जो बेहतरीन थे। खास बात ये रही कि ये खिलाड़ी राहुल द्रविड़ के कोचिंग राज में बेहतरीन थे, जिसकी वजह से इन्हें भारत के लिए मौके मिलने लगे थे। लेकिन गंभीर के कोचिंग कार्यकाल में उन खिलाड़ियों को मौका मिलना अब पूरी तरह से बंद हो गया है। ऐसे ही 3 खिलाड़ियों के बारे में हम बात करेंगे जिनकी एंट्री और एक्सिट कोच के मुताबिक होती है....

Gautam Gambhir के कोच बनते ही इन 3 खिलाड़ियों पर चल रही उनकी मर्जी

अक्षर पटेल

Axar Patel Out

अक्षर पटेल (Axar Patel) ने कई बार टीम इंडिया की लाज मुश्किल परिस्थिति में बचाई है। टी20 वर्ल्ड कप 2024 में खेली गई उनकी 47 रन की पारी इसका बेहतरीन उदाहरण है। उनकी ये पारी भारत को ट्रॉफी दिलाने के लिए काफी अहम थी। लेकिन गौतम गंभीर के कोच बनने के बाद अक्षर को मौके मिलने बंद हो गए या यूं कहें कि कोच की जब मर्जी होती है उन्हें टीम में जगह मिलती है। हैरानी की बात ये है कि अक्षर ने हमेशा भारत के लिए संकट मोचक की भूमिका निभाई है, न सिर्फ एक फॉर्मेट में बल्कि हर फॉर्मेट में।

लेकिन गौतम गंभीर (Gautam Gambhir) वॉशिंगटन सुंदर और जडेजा को अक्षर पटेल पर तरजीह दे रहे हैं। वो फिलहाल भारतीय टीम में मेहमान बने हुए हैं, जो कभी भी अंदर बाहर होते रहते हैं। उनके अंतरराष्ट्रीय करियर की बात करें तो उन्होंने 14 टेस्ट, 60 वनडे और 66 टी20 मैच खेले हैं। उन्होंने क्रमश: 646, 568 और 498 रन बनाए हैं। साथ ही उन्होंने गेंद से 55, 64 और 65 विकेट लिए हैं।

रवि बिश्नोई

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रवि बिश्नोई को भारत के उभरते युवा स्पिनर के तौर पर देखा जा रहा था। उन्हें पिछले दिनों मौके मिल रहे थे। उससे उम्मीद थी कि आने वाले समय में वह भारत की टीम में मुख्य स्पिनर की जगह लेंगे। लेकिन गौतम गंभीर (Gautam Gambhir) के कोच बनने के बाद रवि बिश्नोई भी टीम इंडिया में मात्र मेहमान बनकर रह गए हैं, जिन्हें जरूरत पड़ने पर ही कोच और सेलेक्टर्स के द्वारा याद किया जाता है।

इन दिनों उनकी जगह वरुण चक्रवर्ती को मौके ज्यादा दिये जा रहे हैं। वरुण ने मौके का बखूबी फायदा भी उठाया। ऐसे में चयनकर्ता शायद ही उन्हें टीम से बाहर करेंगे। बिश्नोई के करियर की बात करें तो उन्होंने 37 टी20 मैचों में 18.43 की औसत से 57 विकेट हासिल किए हैं।

सरफराज खान

Sarfaraz Khan

घरेलू क्रिकेट में खूब रन बनाने वाले सरफराज खान ने लंबे संघर्ष के बाद टीम इंडिया में डेब्यू किया। उन्होंने पिछले साल इंग्लैंड के खिलाफ डेब्यू किया था। अपने डेब्यू मैच में इस खिलाड़ी ने सभी का दिल जीत लिया था। लेकिन कुछ मैचों के बाद ही गौतम गंभीर (Gautam Gambhir) ने उनके करियर पर भी ब्रेक लगाना शुरू कर दिया है। न्यूजीलैंड के खिलाफ फ्लॉप हुए सरफराज को इसकी सजा बॉर्डर गावस्कर ट्रॉफी में उन्हें दी। उन्हें इस सीरीज में एक भी मैच में खेलने का मौका नहीं दिया। उन्होंने कुल 6 टेस्ट मैच खेले हैं, जिसमें उन्होंने 37.60 की औसत से 371 रन बनाए हैं।

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Nishant Kumar

मैं निशांत कुमार, एक समर्पित क्रिकेट विशेषज्ञ, कंटेंट राइटर और पेशे से पत्रकार हूँ। पत्रकारिता का मे... रीड मोर