इंग्लैंड क्रिकेट टीम और न्यूजीलैंड क्रिकेट टीम के बीच 2 मैचों की टेस्ट सीरीज का आगाज 2 जून यानि आज से होने वाला है। इसके बाद इंग्लैंड की टीम 4 अगस्त से टीम इंडिया के साथ 5 मैचों की टेस्ट सीरीज खेलने मैदान पर उतरेगी। ये दोनों ही सीरीज इंग्लैंड के लिए काफी अहम होने वाली हैं। अब इंग्लिश कप्तान जो रूट (Joe Root) ने इस बात को स्पष्ट किया है कि भारत और न्यूजीलैंड का सूपड़ा साफ करते हुए वह सम्मानित एशेज सीरीज की तैयारी करेंगे।
एशेज सीरीज रखती है मायने
इंग्लैंड और ऑस्ट्रेलिया के बीच दिसंबर-जनवरी में एशेज सीरीज खेली जाएगी। इस बार मेजबानी ऑस्ट्रेलिया में होने वाली है। पिछली बार एशेज सीरीज 2-2 के स्कोर के साथ संपन्न हुई थी और नियमानुसार पूर्व विजेता ऑस्ट्रेलिया की टीम ने ट्रॉफी अपने पास बरकरार रखी थी।अब एशेज के बारे में बात करते हुए जो रूट (Joe Root) ने एशेज को लेकर कहा,
"इस पूरे समर में ऑस्ट्रेलिया के बारे में लगातार बातचीत होने वाली है। इससे दूर होने की कोई बात नहीं है। हमने लंबे समय से कहा है कि अब हम उस सीरीज की योजना बना रहे हैं। एक इंग्लिश फैंस और एक इंग्लिश खिलाड़ी के रूप में मेरा यह मानना है कि यह एक ऐसी प्रतिष्ठित सीरीज है और यह काफी मायने रखती है।"
भारत-न्यूजीलैंड को हराकर मिलेगा आत्मविश्वास
इंग्लैंड क्रिकेट टीम को एशेज सीरीज से पहले न्यूजीलैंड के साथ 2 टेस्ट मैच व भारत के साथ 5 मैचों की टेस्ट सीरीज खेलनी है। यानि इंग्लैंड की टीम एशेज से पहले 7 टेस्ट मैच खेलेगी। इसिलए Joe Root का मानना है कि एशेज के लिए इससे बेहतर तैयारी नहीं हो सकती है। उन्होंने कहा,
" जब आप तैयारी की बात करते हैं तो मेरा मानना है कि आस्ट्रेलिया जाने से पहले सभी सात टेस्ट मैचों में जीत दर्ज करना, तैयारी के लिहाज से सबसे बेस्ट तरीका होगा और इससे आपको काफी आत्मविश्वास मिलेगा। मौजूदा समय में दुनिया की दो बेस्ट टीमों के खिलाफ खेलना, खिलाड़ियों के लिए बहुत अच्छा मौका है।"
इंग्लैंड के लिए जीतना नहीं होगा आसान
इंग्लैंड क्रिकेट टीम के कप्तान जो रूट (Joe Root) ने भारत व न्यूजीलैंड को हराने की बात कही तो है, लेकिन ये टीम के लिए आसान नहीं होने वाला है। इस बात में शक नहीं है कि रूट की टीम घरेलू परिस्थितियों में मजबूत होगी, लेकिन इस बात को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता है, कि विराट सेना व किवी टीम पिछले समय में बेहतरीन प्रदर्शन करके इंग्लैंड आ रही हैं। भारत की बात करें, तो टेस्ट सीरीज में भारतीय खिलाड़ी पूरे आत्मविश्वास के साथ मैदान पर उतरेंगे, क्योंकि उन्होंने इसी साल ऑस्ट्रेलिया को उनके घर पर हार का स्वाद चखाया था।