39 छक्के 14 चौके, इस भारतीय बल्लेबाज ने टी20 इतिहास का लगा डाला पहला तिहरा शतक, अचंभे में दुनिया
Published - 12 Nov 2025, 03:46 PM | Updated - 12 Nov 2025, 03:47 PM
Indian Batsman: क्रिकेट में अक्सर रिकॉर्ड के बनने और टूटने का क्रम चलता रहता है लेकिन एक रिकॉर्ड ऐसा है जो अब तक अटूट है। पावर हिटिंग का अद्भुत प्रदर्शन करते हुए एक भारतीय बल्लेबाज (Indian Batsman) ने टी20 क्रिकेट में पहला तिहरा शतक जड़कर क्रिकेट इतिहास में अपना नाम दर्ज करा लिया।
39 गगनचुंबी छक्कों और 14 ताबड़तोड़ चौकों की मदद से, इस Indian Batsman ने अकेले ही विपक्षी गेंदबाजी की धज्जियां उड़ा दीं। इस रिकॉर्ड तोड़ पारी ने दुनिया भर के प्रशंसकों और विशेषज्ञों को हैरान कर दिया। क्रिकेट में शायद ऐसी पारी फिर कभी देखने को न मिले।
Indian Batsman ने टी20 इतिहास का लगा डाला पहला तिहरा शतक
क्रिकेट को अनिश्चितताओं का खेल कहा जाता है, और इसे एक भारतीय बल्लेबाज (Indian Batsman) ने 07 फरवरी 2017 को सही ठहराया। जब दिल्ली के विकेटकीपर-बल्लेबाज मोहित अहलावत ने एक स्थानीय टी20 मैच में सिर्फ़ 72 गेंदों पर 300 रनों की अविश्वसनीय पारी खेल डाली।
फ्रेंड्स इलेवन के खिलाफ मावी इलेवन की ओर से खेलते हुए अहलावत ने 39 छक्कों और 14 चौकों की बौछार से विपक्षी टीम को धूल चटा दी और मैच को एकतरफा मुकाबले में बदल दिया। उनकी इस पारी की बदौलत मावी इलेवन ने 20 ओवरों में 416 रनों का विशाल स्कोर खड़ा किया।
मोहित के प्रदर्शन का दबाव इस कदर था कि फ्रेंड्स इलेवन सिर्फ 200 रन ही बना सकी और 216 रनों के विशाल अंतर से उसे हार मिली। Indian Batsman के इस असाधारण प्रदर्शन ने सिर्फ दर्शकों को चौंकाया ही नहीं बल्कि इतिहास भी रच दिया, दर्ज किया टी20 क्रिकेट का पहला तिहरा शतक।
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दिल्ली के स्थानीय मैदानों से रिकॉर्ड बुक तक
महज 21 साल की उम्र में, अहलावत का नाम अचानक क्रिकेट जगत में गूंज उठा। उस समय तक, वह एक होनहार घरेलू खिलाड़ी थे, जिन्होंने ऋषभ पंत के पदार्पण से पहले ही रणजी ट्रॉफी में दिल्ली का प्रतिनिधित्व किया था। उनकी यह अद्भुत पारी कोई तुक्का नहीं थी - यह उनकी टाइमिंग, ज़बरदस्त ताकत और निडर बल्लेबाजी का नतीजा थी।
इस Indian Batsman के 300 रनों में से 234 रन सिर्फ छक्कों से आए थे, जो उस दिन उनकी जबरदस्त बल्लेबाजी को दर्शाता है। अहलावत ने पारी की शुरुआत इरादे के साथ की और हर गेंद को आत्मविश्वास से खेला, उन गेंदबाजों को परेशान किया जिनके पास उनके अथक आक्रमण का कोई जवाब नहीं था।
मोबाइल और इंटरनेट की दुनिया में मोहित की यह पारी वायरल हो गई, जिससे उन्हें क्रिकेट प्रशंसकों, मीडिया और यहां तक कि पूर्व खिलाड़ियों से भी प्रशंसा मिली। सभी ने इसे "किसी भी प्रारूप में अब तक देखे गए पावर-हिटिंग के सबसे महान प्रदर्शनों में से एक" बताया।
Indian Batsman जो राष्ट्रीय स्तर पर नहीं पहुंचा
जीवन में एक बार मिलने वाली उपलब्धि हासिल करने के बावजूद, मोही अहलावत का क्रिकेट सफर एक खामोश मोड़ ले गया। समय के साथ, वे गुमनामी में खो गए - दिल्ली और सर्विसेज के लिए घरेलू क्रिकेट खेलते रहे, लेकिन राष्ट्रीय स्तर पर कभी अपनी जगह नहीं बना पाए।
अहलावत के पिता, पवन अहलावत, भी एक क्रिकेटर थे, जिन्हें आर्थिक तंगी के कारण खेल छोड़ना पड़ा और परिवार का पालन-पोषण करने के लिए टेम्पो चलाने लगे। मोही लाल बहादुर शास्त्री क्रिकेट अकादमी से निकले, जहां गौतम गंभीर और अमित मिश्रा जैसे सितारे कभी प्रशिक्षण लेते थे।
इस Indian Batsman ने 14 प्रथम श्रेणी मैचों में तीन अर्धशतकों के साथ 386 रन बनाए हैं, जबकि 31 लिस्ट-ए मैचों में, उनके नाम 836 रन और पांच अर्धशतक दर्ज है। मोहित ने आखिरी बार जनवरी 2025 में सर्विसेज के लिए ओडिशा के खिलाफ रणजी ट्रॉफी में खेला था, जिसमें वे सिर्फ एक रन बना पाए थे।
हालांकि उनके आंकड़े उस ऐतिहासिक दिन के करिश्मे से मेल नहीं खाते, लेकिन मोहित अहलावत की 300 रन की टी-20 पारी क्रिकेट के इतिहास में अंकित है। जो याद दिलाता है कि कभी-कभी, दिग्गज खिलाड़ी अंतरराष्ट्रीय स्तर पर नहीं, बल्कि भारत के स्थानीय क्रिकेट मैदानों में पैदा होते हैं।