साल 2021 में टीम इंडिया के टी20 वर्ल्ड कप 2022 गंवाने के बाद हेड कोच राहुल द्रविड़ (Rahul Dravid) ने रवि शास्त्री (Ravi Shastri) को रिप्लेस किया था। राहुल (Rahul Dravid) के हेड कोच बनने के बाद फैंस को उनसे काफी सारी उम्मीदें थी, लेकिन वह इन पर खड़े उतर पाने में बुरी तरह से नाकाम रहे।
शुरुआत में राहुल (Ravi Shastri) की कोचिंग में टीम इंडिया ने बेहद ही शानदार प्रदर्शन दिखाया, मगर कुछ समय बीत जाने बाद अब टीम का परफ़ोर्मेंस ग्राफ बिल्कुल ही नीचते गिरता हुआ नजर आ रहा है। ऐसे में फैंस पूर्व हेड कोच रवि शास्त्री (Ravi Shastri) को उनसे लाख गुना बेहतर बता रहे हैं। वहीं रवि (Ravi Shastri) की कोचिंग में टीम इंडिया के प्रदर्शन को देखे तो फैंस का ये कहना कतई गलत नहीं है।
आज इस आर्टिकल के जरिए हम आपको उन तीन कारणों के बारे में बताने जा रहे हैं, जो इस बात की गवाई दे रहे हैं कि रवि (Ravi Shastri) बतौर कोच राहुल (Rahul Dravid) से ज्यादा अच्छे थे। तो चलिए एक नजर डालते हैं उन 3 कारणों पर....
3 कारण क्यों Rahul Dravid से लाख गुना बेहतर कोच थे Ravi Shastri
सीनियर खिलाड़ियों पर जताते हैं राहुल भरोसा
टीम इंडिया की जीत दे रही है रवि शास्त्री के सर्वश्रेष्ठ कोच होने की गवाही
साल 2021 में टीम इंडिया के टी20 वर्ल्ड कप हार जाने के बाद राहुल द्रविड़ को टीम इंडिया की कोचिंग की कमान इस उम्मीद के साथ दी गई थी कि वह अंतरराष्ट्रीय स्तर पर टीम को एक नया मुकाम दिलवाएंगे। हालांकि ऐसा कुछ भी नहीं हुआ और उन्होंने फैंस समेत बीसीसीआई के भरोसे को भी चकनाचूर कर डाला। उनकी कोचिंग में भारत ना तो एशिया कप 2022 के फाइनल में जा सका और ना ही टी20 वर्ल्ड कप 2022 के।
इसके अलावा टीम ने कई द्विपक्षीय सीरीज भी गवाई। राहुल जब से हेड कोच बने हैं तब से टीम इंडिया ने 6 टेस्ट मैच खेले हैं, जिसमें से टीम दो ही मैच जीत सकी और 3 मैच हार गई। इनमें से एक टेस्ट का कोई नतीजा नहीं निकल सका। इसके अलावा 15 वनडे मैचों से 10 मैच और 19 टी20 मैच में से 16 जीते।
वहीं अगर बात करें रवि शास्त्री (Ravi Shastri) की कोचिंग की तो बता दें भारतीय टीम ने उस वक्त 38 में से 23 टेस्ट मैचों और 76 में से 51 वनडे मैचों में जीत हासिल की थी। रवि ने ऑस्ट्रेलिया की सरजमीं पर दो बार भारतीय टीम को टेस्ट सीरीज जितवाई है। मैन इन ब्लू ऐसा करने वाली पहली टीम थी क्योंकि कोई भी एशियाई टीम ऑस्ट्रेलिया को उसकी जमीन पर मात नहीं दे सकी थी। साथ ही रवि ने भारत को वर्ल्ड टेस्ट चैम्पियनशिप और टी20 वर्ल्ड कप के फाइनल में पहुंचाया था।
बैटिंग अप्रोच में आया बड़ा बदलाव
पूर्व हेड कोच रवि शास्त्री ने हर मोड़ पर अपने खिलाड़ियों को सपोर्ट और मोटिवेट किया है। यही वजह है कि उनकी कोचिंग के दौरान भारतीय बल्लेबाज आक्रमक बल्लेबाजी का रुख अपनाते हुए दिखाई देते थे। हालांकि रवि के कोच बनने के बाद टीम इंडिया की बल्लेबाजी कुछ खास नजर नहीं आ रही है।
वहीं राहुल के खिलाड़ी कभी रेस्ट पर होते हैं तो कभी वह चोटिल होने की वजह से अहम मुकाबलों को छोड़ देते हैं। खुद हेड कोच राहुल भी अपनी जिम्मेदारी भूलकर छुट्टियाँ मना रहे होते हैं। पिछले कुछ महीनों से टीम इंडिया में ये कई बार देखा गया है कि खिलाड़ी चोटिल होने या ब्रेक के चलते सीरीज का हिस्सा ही नहीं बनते। हालांकि रवि शास्त्री की कोच पर ऐसा कुछ नहीं देखने को मिला था।