6,6,6,6…. रणजी ट्रॉफी में पृथ्वी शॉ की ऐतिहासिक पारी, गेंदबाजों की खड़ी की खटिया, इतनी गेंदों में ठोक दी ट्रिपल सेंचुरी
Published - 29 Oct 2025, 04:40 PM | Updated - 29 Oct 2025, 04:41 PM
Prithvi Shaw: भारतीय टीम से बाहर चल रहे पृथ्वी शॉ ने रणजी ट्रॉफी में पावर-हिटिंग का शानदार प्रदर्शन करते हुए ऐतिहासिक तिहरा शतक जड़कर धूम मचा दी। गेंद को बार-बार सीमा रेखा के पार पहुंचाते हुए शॉ (Prithvi Shaw) ने विपक्षी गेंदबाजों की धज्जियां उड़ा दीं। उनकी पारी आक्रामकता और टाइमिंग का बेजोड़ मिश्रण थी, जिसने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया।
इस युवा सलामी बल्लेबाज ने रिकॉर्ड समय में अपना तिहरा शतक जड़ा और घरेलू क्रिकेट का इतिहास फिर से लिख दिया। यह एक यादगार पारी थी, जो शॉ (Prithvi Shaw) की बेजोड़ प्रतिभा और वापसी की ललक की याद दिलाती है।
रणजी ट्रॉफी में Prithvi Shaw की ऐतिहासिक पारी
पृथ्वी शॉ (Prithvi Shaw) ने 2022-23 रणजी ट्रॉफी में असम के खिलाफ शानदार तिहरा शतक जड़कर क्रिकेट जगत को अपनी विस्फोटक प्रतिभा की याद दिला दी। मुंबई के इस सलामी बल्लेबाज ने प्रथम श्रेणी मैच को पावर-हिटिंग के तमाशे में बदल दिया, जिसमें उन्होंने बिना किसी परेशानी के चौके और छक्के जड़े।
उनकी इस पारी ने न केवल उनके फॉर्म पर सवाल उठाने वाले आलोचकों का मुंह बंद कर दिया, बल्कि घरेलू क्रिकेट के दिग्गजों में उनका नाम भी दर्ज करा दिया। शॉ का यह मास्टरक्लास प्रदर्शन भारतीय प्रथम श्रेणी क्रिकेट में अब तक के सबसे प्रभावशाली बल्लेबाजी प्रदर्शनों में से एक था।
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शॉ की बल्लेबाजी का कहर : एक रिकॉर्ड तोड़ पारी
गुवाहाटी के अमिंगांव क्रिकेट ग्राउंड पर पहले बल्लेबाजी करते हुए, पृथ्वी शॉ (Prithvi Shaw) ने असम के गेंदबाजों पर ताबड़तोड़ हमला बोला। उन्होंने सिर्फ 383 गेंदों पर 49 चौकों और 4 छक्कों की मदद से 379 रनों की शानदार पारी खेली, जो रणजी ट्रॉफी के इतिहास का दूसरा सबसे बड़ा व्यक्तिगत स्कोर है।
शॉ ने सिर्फ 326 गेंदों पर अपना तिहरा शतक पूरा किया, जिसमें उन्होंने इरादे और धैर्य का एक अनोखा संगम दिखाया। उनकी टाइमिंग और प्लेसमेंट लाजवाब थी, उन्होंने मुख्तार हुसैन और राहुल सिंह की अगुवाई वाले असम के गेंदबाजी आक्रमण को तहस-नहस कर दिया।
हर चौका शॉ के दबदबे को दर्शाता था क्योंकि वह 1990-91 में संजय मांजरेकर के 377 रनों के बाद रणजी पारी में 350 का आंकड़ा पार करने वाले पहले मुंबई के बल्लेबाज बने। यह एक ऐसी पारी थी जिसने उनकी क्षमता में विश्वास जगाया और राष्ट्रीय टीम में वापसी की उम्मीदों को फिर से जगा दिया।
मुंबई ने असम को पारी से रौंदा
Prithvi Shaw की शानदार बल्लेबाजी की बदौलत, मुंबई ने अपनी पहली पारी में 687/4 का विशाल स्कोर बनाया और पारी घोषित कर दी। कप्तान अजिंक्य रहाणे ने 191 रनों की शानदार पारी खेली और शॉ के साथ 401 रनों की साझेदारी की जिसने मेजबान टीम का मनोबल पूरी तरह तोड़ दिया।
जवाब में, असम अपनी पहली पारी में केवल 370 रन ही बना सका, जिसमें रियान पराग ने 78 रनों की जुझारू पारी खेली। फॉलोऑन खेलते हुए, वे 189 रनों पर ढेर हो गए, और शम्स मुलानी की फिरकी (मैच में 90 रन देकर 6 विकेट) ने मुंबई की पारी और 128 रनों से जीत सुनिश्चित कर दी।
इस जीत ने घरेलू क्रिकेट में मुंबई के वर्चस्व को और मजबूत किया और एलीट ग्रुप बी तालिका में उनके क्वालीफिकेशन की उम्मीदों को बल दिया।
एक शानदार पारी और वापसी की उम्मीद
पृथ्वी शॉ (Prithvi Shaw) के लिए, यह पारी सिर्फ़ रन नहीं, बल्कि एक संदेश थी। कुछ समय से भारतीय टीम से बाहर रहने के बाद, शॉ की 379 रनों की ऐतिहासिक पारी उनकी प्रतिभा और अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में वापसी की उनकी भूख का एक जबरदस्त सबूत थी।
सभी प्रारूपों में गेंदबाजों पर हावी होने की उनकी क्षमता निर्विवाद है, और इस तिहरे शतक ने एक बार फिर साबित कर दिया कि उन्हें भारत के सबसे स्वाभाविक रूप से प्रतिभाशाली बल्लेबाजों में से एक क्यों माना जाता है।
चयनकर्ताओं की कड़ी नजर के साथ, शॉ का यह रिकॉर्ड-तोड़ प्रदर्शन शायद वह पारी हो सकती है जो टीम इंडिया में उनकी वापसी का रास्ता खोल दे।
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