आईसीसी वर्ल्डकप 2023 (ICC Worldcup 2023) के लिए विश्व की सभी टीमों ने अपने-अपने स्तर पर तैयारियां शुरू कर दी है. कुछ समय बाद क्रिकेट जगत का सबसे बड़ा टूर्नामेंट आने वाला है और सभी टीमें इस टूर्नामेंट को जीतने में पूरी जान लगा देंगी. ऐसे में हर बार नॉकआउट स्टेज में बाहर होने वाली टीम इंडिया इस बार ये विश्वकप ज़रूर जीतना चाहेगी.
लेकिन टीम इंडिया को आईसीसी विश्वकप 2023 में जाने से पहले इन 5 चीज़ों पर ज़रूर काम करना होगा वरना आगामी मेगा इवेंट (ICC Worldcup 2023) में एक बार फिर टीम इंडिया को हार का सामना करना पड़ेगा. तो आइए इस आर्टिकल में आपको भारत के उन 5 डिपार्टमेंट के बारे में बताते हैं, जिनपर रोहित शर्मा-राहुल द्रविड़ को मिलकर सुधारना होगा।
1) टीम में स्थिरता की है कमी
भारतीय क्रिकेट टीम का शेड्यूल हमेशा बिल्कुल पैक होता है. जिसके चलते खिलाड़ियों को गेम से रिकवर करने का समय नहीं मिलता और वे इंजर्ड हो जाते हैं. जिसके चलते फिर टीम इंडिया को बार-बार टीम में बदलाव करना पड़ता है और उससे टीम की स्टेबिलिटी मेन्टेन नहीं हो पाती. अक्सर हमने देखा है कि भारत हर मुकाबले में या हर श्रृंखला में एक अलग टीम के साथ उतरता है. जिसके चलते टीम कॉम्बिनेशन सही नहीं बैठता.
ऐसे में टीम इंडिया को विश्वकप में जाने से पहले इस समस्या पर बखूबी काम करना पड़ेगा. भारत को जल्द से जल्द वर्ल्ड कप के लिए अपना स्क्वाड तैयार करना पड़ेगा और फिर उन खिलाड़ियों को लगातार हर श्रृंखला में खिलाना पड़ेगा ताकि टीम में एक केमेस्ट्री बन जाएं, एक स्टेबिलिटी आ जाए. जो भारत को वर्ल्डकप में एक प्रकार की मज़बूती प्रदान करेगा.
2)मिडिल ऑर्डर का लगातार फ्लॉप होना
अक्सर हम भारतीय टीम के मिडिल ऑर्डर को फ्लॉप होते हुए देखते हैं. टीम इंडिया के लिए अधिकतर रन टॉप ऑर्डर के बल्लेबाज़ बनाते हैं. जिसके चलते टीम इंडिया विहल जैसा स्कोर वनडे में बना पाती है या चेज़ कर पाती है. लेकिन जिस दिन भारत का टॉप ऑर्डर जल्दी ऑउट हो जाता है उस दिन भारत को अक्सर काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है.
इसी के साथ भारत की सबसे बड़ी परेशानी उनके चौथे नंबर का बल्लेबाज़ है. चौथे नंबर पर भारतीय टीम ने कितने खिलाड़ियों को खिलाकर ट्राई किया लेकिन कोई भी उतना कारगर साबित नहीं हुआ. भारत के मिडिली ऑर्डर में श्रेयस अय्यर, ऋषभ पंत, हार्दिक पंड्या और रविंद्र जडेजा बल्लेबाज़ी करते हुए ज़्यादा दिखाई देते हैं.
लेकिन ये बल्लेबाज़ ज़्यादातर मुकाबलों में उतने असरदार साबित नहीं होते. जिसके चलते भारत का मिडिल ऑर्डर फ्लॉप हो जाता है. ऐसे में भारत को ईशान किशन, सूर्यकुमार यादव आदि जैसे बल्लेबाज़ों को भी खेलने का मौका देना चाहिए और इस परेशानी को जल्द से जल्द सुलझाना चाहिए.
3) भारत का स्पिन बॉलिंग अटैक
महेंद्र सिंह धोनी की आगुआई में भारतीय टीम का स्पिन अटैक अलग ही अंदाज़ में बोलिंग करता था, और टीम को एहम मौके पर मैच में विकेट चटका कर देता था. धोनी की कप्तानी में अनुभवी ऑफ़ स्पिनर रविचंद्रन अश्विन, रविंद्र जडेजा ने कमाल की गेंदबाज़ी की है. साल 2013 में चैंपियंस ट्रॉफी में भी ये दोनों टीम इंडिया के प्रमुख स्पिन गेंदबाज़ थे और इन्होंने टूर्नामेंट में कई विकेट भी चटकाई थी. लेकिन धोनी के जाने के बाद इनकी गेंदबाज़ी में वो दम नहीं दिख रहा था. जिसके चलते दोनों को काफी समय के लिए टीम से बाहर कर दिया गया था.
कुछ सालों पहले तक भी जादुई लेग स्पिनर युजवेंद्र चहल और गुगली किंग कुलदीप यादव ने भारत का स्पिन अटैक अपने कंधो पर उठा रखा था. और अपनी कमाल की गेंदबाज़ी से सबको काफी प्रभावित भी किया था. लेकिन कुछ समय से ये दोनों लगातार विकेट लेने में असफल हो रहे थे, और कुलदीप यादव अपने करियर के मुश्किल दौर से गुज़र रहे थे, जिसके चलते उनको भी टीम से इस समय बाहर कर दिया गया है और अब एक बार फिर अश्विन पर भरोसा जताया गया है.
लेकिन दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ खेले गए सीरीज़ के पहले मुकाबले में भी कोई अंतर देखने को नहीं मिला. स्पिनर युजवेंद्र चहल और रविचंद्रन अश्विन मैच के दौरान काफी फींके पड़ते हुए दिखाई दिए. मिडिल ओवर में अफ़्रीकी बल्लेबाज़ ने दोनों पर अपना दबदबा बना कर रखा था. ऐसे में भारत को विश्वकप 2023 (ICC Worldcup 2023) से पहले इस परेशानी को सुलझाना होगा और कई नए स्पिन गेंदबाज़ जैसे वरुण चक्रवर्ती, वाशिंगटन सुंदर आदि रविंद्र जडेजा को मौका देकर देखना होगा कि कौनसा स्पिन कॉम्बिनेशन हमारे लिए कारगर साबित हो रहा है.
4) परफेक्ट ऑलराउंडर की कमी
पीठ में चोट लगने के कारण जबसे ऑलराउंडर हार्दिक पंड्या ने गेंदबाज़ी करना छोड़ी है तबसे टीम इंडिया को छठे गेंदबाज़ की टीम में काफी कमी खलती है.हार्दिक एक अच्छे छठे गेंदबाज़ के रूप में टीम के लिए उभरकर आए थे और उन्होंने मैच में कई एहम मौकों पर भारतीय टीम को विकेट भी दिलवाई है.
लेकिन जबसे उन्होंने गेंदबाज़ी करना छोड़ी है तबसे टीम इंडिया काफी दिक्कतों में है. भारत ने उनकी जगह कई खिलाड़ी इस्तेमाल किए, लेकिन कोई भी टीम के लिए वो काम नहीं कर पाया जो हार्दिक करते थे. भारत ने उनकी जगह टीम में शार्दुल ठाकुर, वेंकटेश अय्यर को भी इस्तेमाल किया, लेकिन फिर भी बात नहीं बनी. कई बार तो भारतीय टीम फील्ड पर 5 गेंदबाज़ों के साथ उतर गई. जिसका नतीजा गेंदबाज़ी के लिहाज़ से काफी खराब रहा.
उम्मीद करते हैं हार्दिक पंड्या जल्द से जल्द अपनी इंजरी से रिकवर कर जाए और टीम इंडिया के लिए विश्वकप 2023 (ICC Worldcup 2023) में एक बार फिर बतौर ऑलराउंडर खेल पाए और अपनी टीम को गेंदबाज़ी और बल्लेबाज़ी दोनों से मैच जितवाए. और अगर विश्वकप तक हार्दिक ठीक नहीं हुए तो उनको वेंकटेश अय्यर या फिर विजय शंकर को वर्ल्डकप के लिए तैयार करना होगा.
5) सलामी बल्लेबाज़
भारतीय टीम कई साल तक ओपनिंग के लिए सिर्फ रोहित शर्मा और शिखर धवन पर निर्भर थी, जोकि टीम के लिए काफी अच्छा भी साबित हुआ. दोनों बल्लेबाज़ों ने मिलकर भारत के लिए काफी रन बनाए हैं, और दोनों के बीच में कई बार शतकीय और अर्धशतकीय पार्टनरशिप भी लगी है. लेकिन पिछले कुछ समय से टीम इंडिया अपने सलामी बल्लेबाज़ों में काफी बदलाव कर रही है. लगभग हर श्रृंखला में भारत एक नए ओपनिंग कॉम्बिनेशन के साथ फील्ड पर खेलती हुई दिखाई देती है.
जिससे टीम को काफी नुकसान उठाना पड़ता है. नए नए कॉम्बिनेशन के साथ फील्ड पर उतरने का नुकसान ये होता है कि ओपनर्स के बीच वो केमेस्ट्री नहीं दिख पाती. जिसके चलते सलामी बल्लेबाज़ जल्दी ऑउट हो जाते हैं. ऐसे में भारतीय टीम को विश्वकप के लिए किसी एक जोड़ी पर ही विश्वास जताना होगा और उस जोड़ी को ही वर्ल्डकप के लिए तैयार करना होगा.
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