Team India: रोहित शर्मा और विराट कोहली टी20 फॉर्मेट से संन्यास ले चुके हैं. टीम इंडिया (Team India) इन दोनों सीनियर खिलाड़ियों के बिना बांग्लादेश के खिलाफ 3 मैचों की टी20 सीरीज खेल रही है. इस सीरीज में कई युवा खिलाड़ियों को जगह मिली है. वहीं एक खिलाड़ी ऐसा हा जिसने इस प्रारूप में अपनी विस्फोटक बल्लेबाजी से दिल जीत लिया है. लेकिन, भविष्य में भारत के लिए एकदिवसीय और टेस्ट फॉर्मेट में अपनी जगह नहीं बना पाएंगा. आइए जानते हैं उस खिलाड़ी के बारे में...
Team India के इस खिलाड़ी टी20 में जमाई अपनी धाक
भारत और जिम्बाब्वे के खिलाफ जुलाई में 5 मैचों की टी20 सीरीज खेली गई थी. जिसमें शुभमन गिल को कप्तान बनाया गया था. उनकी कप्तानी में बाएं हाथ के सलामी बल्लेबाज अभिषेक शर्मा को डेब्यू करने का मौका मिला था. उन्होंने दूसरे दूसरे ही इंटरनेशनल टी20 में धमाकेदार शतक जड़ दिया. मात्र गेंदों में 100 रनों की पारी खेली. इस दौरान अभिषेक के बल्ले से 7 चौके और 8 छक्के देखने को मिले. इससे पहले आईपीएल 2024 में SRH के धमाकेदार बैटिंग की थी. शर्मा जिस अंदाज से टी20 में बैटिंग करते हैं उस लिहास से खेल पंड़ित उन्हें टी20 स्पेशलिस्ट बल्लेबाज बताते हैं.
इस वजह से वनडे और टेस्ट में नहीं बन पाएंगे टीम का हिस्सा
1. जरूरत से ज्यादा आक्रामक बैटिंग:
- अभिषेक शर्मा टीम इंडिया के उबरते बल्लेबाजों में एक हैं. टी20 में उनकी बैटिंग ने काफी प्रावित किया है. ऐसे निडर बल्लेबाजों की जरूरत होती है. लेकिन, टेस्ट में ऐसे बल्लेबाज खुद को नहीं बल्कि पूरी टीम को मुसीबत में डाल सकते हैं. शर्मा जरूरत से ज्यादा आक्रामक खेलते हैं. हर गेंद पर बल्ला चलाते हैं. जबकि टेस्ट में खिलाड़ी का डिफेंस अच्छा होना चाहिए. अभिषेक का जिस तरह का स्टाइल है, वह टेस्ट में अपना विकेट जल्दी गंवा सकते हैं. ऐसे में उन्हें अपनी आक्रामक अप्रोच पर काम करने की जरूरत है.
2. टेम्परामेंट की कमी :
- एकदिवसीय क्रिकेट और टेस्ट में एक खिलाड़ी को मानसिक रूप से पूरी तरह परिपक्व होना चाहिए. इस दौनो प्रारूप में अपना विकेट बचाते हुए बैटिंग में धैर्य और संयम दिखाने की जरूरत होती है. जिसके खिलाड़ी के कुशलता का पता लगता है कि उसका टेम्परामेंट कैसा है. अभिषेक शर्मा ने आईपीएल से लेकर इंटरनेशनल क्रिकेट में अभी तक जिसने मैचों में बैटिंग की है. उनमें इन सभी गुणों की कमी दिखती है. जब वो बैटिंग के लिए आते तो ऐसा लगता है कि वह काफी जल्दबाजी में है और अपना विकेट गंवा देते हैं. उन्हें उपनी इन सभी कमियों से पार पानी होगी नहीं तो उनका टेस्ट और वनडे में खेलने का सपना अधूरा रह सकता है.