Hardik Pandya सहित इन 5 खिलाड़ियों ने किया धांसू कमबैक, गेंद और बल्ले से मचाया कोहराम
Published - 21 Jul 2022, 06:26 AM

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Team India: एक प्रसिद्ध कहावत है कि कमबैक हमेशा शुरुआत से बेहतर होते हैं। क्रिकेटर भी इस मुहावरे के लिए अनजान नहीं हैं। यह खेल न केवल मैदान पर बल्कि इसके बाहर भी खिलाड़ियों का टेस्ट करता है। कभी-कभी, चोटें सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ियों की परीक्षा लेती हैं, क्योंकि वे जानते हैं कि एक गंभीर चोट उनके करियर को बर्बाद कर सकती है।
तो कभी किसी खिलाड़ी का प्रदर्शन उसके टीम से ड्रॉप होने का कारण बन जाता है। भारत (Team India) के पास अपने स्वयं के क्रिकेट के कुछ नायक हैं जिन्होंने लंबे समय तक टीम (Team India) से बाहर रहने के बाद शानदार कमबैक किया।
आज इस आर्टिकल के जरिए हम आपको टीम इंडिया (Team India) के उन 5 खिलाड़ियों के बारे में बताने जा रहे हैं जिन्हें अपनी फॉर्म या चोट की वजह से लंबे समय तक टीम (Team India) से बाहर रहना पड़ा, लेकिन इसके बाद उन्होंने शानदार कमबैक किया.....
Team India के 5 खिलाड़ी जिन्होंने शानदार अंदाज में किया कमबैक
हार्दिक पांड्या
हार्दिक पांड्या की अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में वापसी हाल के दिनों में सबसे अच्छी वापसी में से एक रही है। पीठ की चोट और गेंदबाजी क्षमताओं को बाधित होने की वजह से पांड्या को टीम इंडिया (Team India) से बाहर कर दिया गया। इस वजह से उन्हें आईपीएल 2022 में भी मुंबई इंडियंस ने रिटेन नहीं किया था।
लेकिन गुजरात के ऑलराउंडर ने वापसी करने के बाद अपने आलोचकों को बेहतरीन तरीके से जवाब दिया। उन्होंने न केवल गेंदबाजी में वापसी की, बल्कि कड़ी मेहनत करने के बाद अपनी बल्लेबाजी में धार लगाई। उन्होंने गुजरात टाइटंस के साथ कप्तान के रूप में अपना पहला आईपीएल खिताब भी जीता।
हाल ही में भारतीय टीम में वापसी करने के बाद उन्होंने अपना विस्फोटक प्रदर्शन करते हुए टीम इंडिया (Team India) में अपनी जगह पक्की कर ली। पूरी तरह से फिट हार्दिक भारतीय सफेद गेंद वाली टीम के अहम हिस्से बन चुके हैं। अपनी चोट के दौरान ट्रोलिंग का सामना करने के बाद, ऑलराउंडर को नफरत करने वालों से ऊपर उठते देखना बहुत अच्छा रहा।
दिनेश कार्तिक
दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ खेली हुए T20I श्रृंखला के लिए चुने जाने के बाद दिनेश कार्तिक ने अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में अपनी सबसे कठिन वापसी की है। डीके को 2019 विश्व कप के बाद टीम (Team India) से बाहर किया गया था, जहां भारत को दो दिनों तक चले सेमीफाइनल में न्यूजीलैंड के खिलाफ हार का सामना करना पड़ा था।
इसके बाद सब कयास लगाने गए कि दिनेश के करियर का 'द एंड' हो गया है और वे अब कमेंटेटर बन गए। उनकी एक तस्वीर इंटरनेट पर वायरल हो गई जहां एक स्पोर्ट्स ब्रॉडकास्टिंग चैनल ने उनका उल्लेख एक रिटायर्ड खिलाड़ी के रूप में किया। लेकिन कार्तिक ने कभी उम्मीद नहीं खोई, लगातार दो खराब आईपीएल सीज़न के बाद भी, उन्हें इस साल के आईपीएल में रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर ने चुना और आगे जो हुआ वह अब हर जगह चर्चा का विषय है।
उनके आईपीएल प्रदर्शन के आधार पर, भारतीय चयनकर्ताओं को उन्हें राष्ट्रीय टीम में वापस लाने के लिए मजबूर होना पड़ा। उन्हें वापसी करने के बाद सभी मैचों में नंबर 6 पर बल्लेबाजी करने के लिए दिया गया और उन्होंने अच्छी स्ट्राइक रेट से बल्लेबाजी की।
युवराज सिंह
2011 में, भारतीय क्रिकेट टीम विश्व कप की विजेता बनी। इस जीत के नायक युवराज सिंह भी इस सफलता को पूरी तरह से जी नहीं पाए थे कि पता चला कि उनके बाएं फेफड़े में कैंसर है। उनका अमेरिका में इलाज हुआ और कीमोथैरेपी खत्म होने के बाद मार्च 2012 में उन्हें अस्पताल से डिस्चार्ज कर दिया गया।
जिसके बाद वे भारत लौट आए। लोग कयास लगाने लगे कि यह उनके करियर का 'अंत' है। युवराज ने अपनी फिटनेस पर कड़ी मेहनत की और हालांकि वह 2015 विश्व कप और 2016 विश्व टी 20 से चूक गए, उन्होंने मजबूत घरेलू प्रदर्शन के बाद 2017 की शुरुआत में वापसी की।
युवराज ने अपनी वापसी के बाद कुछ प्रभावशाली पारियां खेलीं और यहां तक कि चैंपियंस ट्रॉफी के पहले मैच में पाकिस्तान को भी पटखनी दी। 2017 में कमबैक करने के बाद यूवी ने वनडे की 10पारियों में 372 रन बनाए, जबकि टी20 की 3 पारियों में 43। विश्व कप टीम में नहीं चुने जाने के बाद युवराज ने जून 2019 में संन्यास की घोषणा की।
सौरव गांगुली
सौरव गांगुली ने पूरी दुनिया के लिए व्यक्तिगत रूप से वापसी को परिभाषित किया। सौरव को शायद ही किसी ने हर मानते हुए देखा होगा। हर बार जब भी उन्हें खारिज किया गया, तो वह वापस आए और गांगुली पिछली बार से भी अधिक मजबूत होकर वापस आए।
उस समय भारतीय कप्तान बहुत बुरी तरह से संघर्ष कर रहा था क्योंकि वह रन भी नहीं बना सका था। उस दौरान भारत भी विशेष रूप से अच्छा नहीं कर रहा था। सभी ने सौरव पर बेहद स्वार्थी कप्तान होने का आरोप लगाया। ऐसा कभी नहीं लगा कि वह फिर कभी राष्ट्रीय टीम में वापसी कर सकते हैं। राष्ट्रीय टीम से निकाले जाने के बाद, उन्होंने अभ्यास सत्रों में कड़ी मेहनत करना शुरू कर दिया और टीम में वापसी करने की थान ली।
घरेलू क्रिकेट में असाधारण प्रदर्शनों के क्रम में, गांगुली ने एक बल्लेबाज के रूप में राष्ट्रीय टीम में वापसी की। इसके बाद जो हुआ उससे तो जगजाहीर है। उन्होंने इस वापसी के बाद टेस्ट क्रिकेट में अपना सर्वश्रेष्ठ स्कोर बनाया, पाकिस्तान के खिलाफ 239 रनों की धमाकेदार पारी खेली और वर्ष 2007 में टेस्ट क्रिकेट में सबसे अधिक रन बनाने वाले खिलाड़ी भी बने।
आशीष नेहरा
चोट और आउट ऑफ फॉर्म होने की वजह से आशीष नेहरा को 4 साल के लिए टीम (Team India) से बाहर कर दिया था। लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी और कड़ी मेहनत कर कमबैक किया। नेहरा ने शानदार वापसी करते हुए 2011 में भारत को विश्व कप दिलवाने में अहम भूमिका निभाई।
दरअसल, प्रवीण कुमार के चोटिल होने के कारण एस. श्रीशांत को वर्ल्ड कप टीम (Team India) में जगह दी गई। लेकिन उन्होंने माही और सचिन से कहा कि वे शायद वर्ल्ड कप नहीं खेल पाएंगे। ऐसे में धोनी ने आशीष को कॉल घुमाया। आशीष वर्ल्ड कप के तीन ही मुकाबले खेल पाए।
सेमीफाइनल में पाकिस्तान के खिलाफ आशीष ने दमदार गेंदबाजी दिखाते हुए दो विकेट अपने नाम किए। इस मैच में इंडिया ने 29 रन से जीत हासिल की और फाइनल मैच में जगह हासिल की। आशीष नेहरा 2003 में विश्व कप फाइनल में भी खेले थे लेकिन दुर्भाग्य से उस समय भारतीय टीम (Team India) को ऑस्ट्रेलिया के सामने हार का सामना करना पड़ा था।
ऑथर के बारे में

मानवी नौटियाल एक उत्साही और अनुभवी स्पोर्ट्स जर्नलिस्ट हैं, जिन्हें खेलों की दुनिया से गहरा लगाव है।... रीड मोर