आखिर क्यों टी20 फॉर्मेट में कप्तान बनने लायक नहीं हैं सूर्यकुमार यादव, जानिए ये 3 बड़ी वजह

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Manvi Nautiyal
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Suryakumar Yadav

Suryakumar Yadav: रोहित शर्मा के बाद टी20 टीम का कप्तान कौन बनेगा? इस सवाल जाने के लिए भारतीय फैंस काफी उत्साहित हैं। बीसीसीआई ने अभी तक इस फॉर्मेट के कप्तान का चयन नहीं किया है। वहीं, अब इस मामले को लेकर बड़ा अपडेट सामने आया है। हाल ही रिपोर्ट्स के मुताबिक बीसीसीआई हार्दिक पंड्या की जगह सूर्यकुमार यादव (Suryakumar Yadav) को टी20 टीम का कप्तान बनाना चाहती है।

ईएसपीएन की एक रिपोर्ट में दावा किया गया है की चयन समिति और बीसीसीआई के बीच कैप्टन को लेकर काफी चर्चा हुई है। हार्दिक पंड्या के बार-बार चोटिल होने की वजह से भारतीय बोर्ड सूर्यकुमार यादव के कंधों पर यह जिम्मेदारी डालना चाहता है। तो आइए इस आर्टिकल के जरिए जानते हैं उन तीन कारणों के बारे में जो साबित करते हैं कि सूर्यकुमार यादव (Suryakumar Yadav) इस पद के लिए सही दावेदार क्यों नहीं हैं....

इन 3 कारणों की वजह से Suryakumar Yadav नहीं है कप्तान बनने के लायक

बल्लेबाजी में है निरन्तरता का अभाव

  • इसमें कोई शक नहीं है कि सूर्यकुमार यादव (Suryakumar Yadav) टीम इंडिया के धाकड़ बल्लेबाजों में से एक हैं। 20 ओवर के क्रिकेट में उन्होंने अपनी धुआंधार बल्लेबाजी से फैंस के दिलों में जगह बनाई है।
  • लेकिन उनके तीन साल के करियर में अभी तक स्थिरता नहीं दिखी है। कभी सूर्यकुमार यादव का प्रदर्शन दमदार होता है तो कभी उन्हें रन बनाने के लिए जमकर संघर्ष करना पड़ता है।
  • ऐसे उनकी यह अनियमित फ़ॉर्म भारतीय टीम पर भारी पड़ सकती है। किसी भी टीम को सफल बनाने के लिए कप्तान को अपनी फ़ॉर्म में निरन्तरता रखनी होती है, ताकि वो अन्य खिलाड़ियों के लिए बेहतरीन प्रदर्शन पेश कर सके।
  • लेकिन अभी तक यह निरन्तरता खुद सूर्यकुमार यादव में ही देखने को नहीं मिली है। लिहाजा, इस वजह से वह टी20 टीम के कप्तान के सबसे अच्छे दावेदार नहीं नजर आ रहे हैं।

कप्तानी का कुछ खास अनुभव नहीं

  • दूसरी वजह जो इस बात का सबूत है कि सूर्यकुमार यादव (Suryakumar Yadav) को टीम इंडिया का कप्तान नहीं बनना चाहिए वो है उनका कप्तानी का अनुभव।
  • भले ही सूर्यकुमार यादव ने पिछले साल दक्षिण अफ्रीका और ऑस्ट्रेलिया जैसी बड़ी टीमों के खिलाफ टीम इंडिया की कप्तानी की हो, लेकिन अंतरराष्ट्रीय स्तर पर उनके पास कप्तानी का अनुभव बहुत कम है।
  • उन्हें अभी तक दबाव की स्थिति में कप्तानी करने का अनुभव नहीं हुआ है। ऐसे में अब उन्हें कप्तान नियुक्त करना बीसीसीआई के लिए जल्दबाजी वाला फैसला साबित हो सकता है, जिसका खामियाजा टीम को भुगताना पड़ेगा।

तीनों फॉर्मेट का खिलाड़ी नहीं होना

  • तीसरा और सबसे बड़ा कारण है सूर्यकुमार यादव (Suryakumar Yadav) का तीनों फॉर्मेट में खिलाड़ी न होना. वैसे तो स्काई क्रिकेट के तीनों प्रारूप में डेब्यू कर चुके हैं, लेकिन टेस्ट और वनडे क्रिकेट में वह बुरी तरह फ्लॉप रहे हैं।
  • सूर्यकुमार यादव टी20 क्रिकेट के सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाज हैं, लेकिन जब भी बात असीमित ओवर या 50 ओवर के क्रिकेट की आती है तो वो भारतीय चयनकर्ताओं की पहली पसंद नहीं होते हैं।
  • क्योंकि इन दोनों ही फॉर्मेट में उन्होंने टीम की लुटिया डुबाई है। भले ही उन्हें टेस्ट क्रिकेट में ज्यादा खेलने का मौका नहीं मिला है। लेकिन जब मिला था तो वह एक पारी में आठ रन बनाकर आउट हो गए।
  • इसके अलावा 2021 में वनडे डेब्यू करने के बाद सूर्यकुमार यादव ने इस फॉर्मेट के 37 मैच खेले, जिसमें वह 25.8 की औसत और 105 के स्ट्राइक रेट से 773 रन ही बना पाए।

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