टीम इंडिया के कप्तान रोहित शर्मा (Rohit Sharma) अपनी कप्तानी के हुनर से भारतीय समर्थकों का दिल जीतते हुए नजर आ रहे हैं। मैदान में रोहित का लिया हुआ एक भी डिसीजन गलत साबित नहीं हो रहा है। चाहें फील्ड सेटिंग और गेंदबाजों का रोटेशन, रोहित शर्मा अपनी कप्तानी में एक भी चाल गलत नहीं चल रहे हैं। भारत और वेस्टइंडीज के बीच जारी सीरीज में टीम इंडिया के हिटमैन ने 4 बार सही DRS ले कर ऑन फील्ड अंपायर का निर्णय गलत साबित कर दिया है।
अंपायर से भी तेज हैं Rohit Sharma की नजर
बुधवार को भारत और वेस्ट इंडीज के बीच 3 मैचों की वनडे सीरीज का दूसरा मैच खेला गया। वेस्टइंडीज की पारी के 10वें ओवर मे प्रसिद्ध कृष्णा गेंदबाजी कर रहे थे। इस समय क्रीज पर बाएं हाथ के बल्लेबाज डैरन ब्रावो मौजूद थे। इस ओवर की पहली गेंद पर डैरन ब्रावो के बल्ले का किनारा लेकर गेंद विकेटकीपर ऋषभ पंत के दस्तानों में चली गई।
टीम इंडिया के सभी खिलाड़ियों ने इस पर अपील की लेकिन ऑन फील्ड अंपायर ने नॉटआउट करार दिया। इसके बाद कप्तान रोहित शर्मा ने DRS का इस्तेमाल किया और स्निको मीटर पर बल्ले का किनारा लगने की पुष्टि हो गई। इसे देखकर ऑन फील्ड अंपायर भी चौंक गए और डैरन ब्रावो अपने इस तरह आउट होने पर यकीन नहीं कर पा रहे थे। इसके बाद रोहित शर्मा (Rohit Sharma) की नजर और सूझ बूझ से DRS का इस्तेमाल करने पर उनकी खूब तारीफ की जा रही है।
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DRS बन चुका है ‘डेफिनेटली रोहित सिस्टम'
इससे पहले रविवार को खेले गए पहले वनडे मैच में दौरान भी रोहित शर्मा (Rohit Sharma) ने 3 बार सही DRS का इस्तेमाल करते हुए अंपायर के फैसले को पलटा था। जिसके बाद टेलीविजन पर कमेंटरी कर रहे पूर्व भारतीय क्रिकेटर सुनील गावस्कर ने DRS की परिभाषा रोहित शर्मा के नाम पर रख दी थी। उन्होंने कहा कि
“पहले जब एमएस धोनी सही रिव्यू लेते थे तो इसे धोनी रिव्यू सिस्टम कहा जाता था। अब रोहित शर्मा भी सही निर्णय ले रहे है, इसलिए आप इसे ‘डेफिनेटली रोहित सिस्टम ‘ कह सकते हैं।”