भारतीय टीम के पूर्व खिलाड़ी कपिल देव (Kapil Dev) ने अपने पसंदीदा खिलाड़ी के बारे में खुलासा किया है. वैसे तो भारतीय टीम में एक से बढ़कर एक खिलाड़ी हैं. कपिल देव की पसंदीदा खिलाड़ियों की लिस्ट में विराट कोहली और रोहित शर्मा का नाम नहीं है. बल्कि कपिल देव ने टीम के स्टार ऑलराउंडर को अपना पसंदीदा खिलाड़ी करार दिया है. जब वो घातक ऑलराउंडर मैदान पर उतरता है तो (Kapil Dev) कपिल देव मैच का लुफ्ट उठाना नहीं भूलते.
'मुझे नए क्रिकेटरों में से जडेजा का खेल है पसंद'
भारतीय टीम के बेहतरीन ऑलराउंडर रवींद्र जडेजा (Ravindra Jadeja) ने अपनी बल्लेबाजी और गेंदबाजी से हर किसी को अपना मुरीद बना लिया है. उनके शानदार प्रदर्शन के लिए उन्हें 'सर' रवींद्र जडेजा के नाम से जाना ताजा है. जड्डू ने श्रीलंका के खिलाफ शानदार वापसी की है. उन्होंने पहले टेस्ट मैच में 175 रन की पारी खेली खेली और दोनों पारियों में 9 चटकाने का कारनामा किया. इस बात में को दोहराय नहीं है कि ऑलराउंडर रवींद्र जडेजा टीम इंडिया (Team India) का अहम हिस्सा हैं. 1983 विश्व कप विजेता टीम के कप्तान कपिल देव (Kapil Dev) ने अपने पसंदीदा खिलाडी बताया है. कपिल देव ने कहा कि,
"मुझे नए क्रिकेटरों के बीच रविंद्र जडेजा का खेल पसंद है, क्योंकि वह बिना दबाव के खेलता है। वह क्रिकेट का आनंद लेता है। इसलिए वह गेंदबाजी के साथ-साथ बल्लेबाजी में भी अच्छा है। वह फील्डिंग में भी बहुत अच्छा काम करता है."
Kapil Dev ने बताया फेवरेट मैदान का नाम
ऑलराउंडर रवींद्र जडेजा (Ravindra Jadeja) मैदान पर हर डिपार्टमेंट में अपनी भूमिका निभाते हैं. चाहें उन्हें गेंदबाजी थमा दी जाए या फिर बल्लेबाजी कराई जाए. वो क्षेत्र में अपना बेस्ट देते हैं. रवींद्र जडेजा, भारतीय टीम के सबसे चुस्त फील्डरों की लिस्ट में शुमार होते हैं. उनके हाथ में बॉल आ जाने के बाद बल्लेबाज को रन चुराने के लिए सौ बार सोचना पड़ता है.
जडेजा अपने ऊपर दबाव को हावी नहीं होने देते. यही कारण है कि लगातार अच्छा प्रदर्शन करते हैं. पहले टेस्ट में 175 रन और 9 विकेट लेने के बाद टेस्ट रैंकिंग में काफी सुधार हुआ है. वे आईसीसी टेस्ट रैंकिंग में शीर्ष क्रम के ऑलराउंडर बन गए. कपिल देव (Kapil Dev) पूछा गया कि कौन सा क्रिकेट स्टेडियम उनके दिल के बहुत करीब है. उन्होंने बताया कि
"मैं गर्व से कह सकता हूं कि चेपॉक उन मैदानों में से एक है, जहां मैं कभी असफल नहीं हुआ.चेपॉक में खेले गए 11वें टेस्ट में उन्होंने दो शानदार शतकों के साथ 707 रन बनाए और 40 विकेट झटके थे.