लॉर्ड्स टेस्ट के साथ खत्म होगा करियर, 9 साल में सिर्फ 6 मैच खेलने वाला खिलाड़ी करेगा संन्यास का ऐलान
Published - 14 Jul 2025, 03:11 PM

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भारत और इंग्लैंड के बीच लॉर्ड्स (Lords Test) में खेला जा रहा मौजूदा टेस्ट मुकाबला दोनों टीमों के लिए अहम है। एजबेस्टन में शुभमन गिल की अगुवाई वाली टीम की जीत के बाद श्रृंखला 1-1 की बराबरी पर आ गई है। अब अगर टीम इंडिया को इस सीरीज में बढ़त लेनी है, तो Lords Test में जीत हासिल करना बेहद जरूरी हो गया है।
इस रोमांचक मैच (Lords Test) के साथ ही एक ऐसे भारतीय क्रिकेटर का करियर समाप्त होता नजर आ रहा हैजिसने शानदार प्रदर्शन कर अपनी प्रतिभा की झलक तो दिखाई लेकिन अवसर न मिलने के कारण उसका अंतरराष्ट्रीय सफर सिर्फ छह मैचों तक ही सीमित रह गया। ऐसे में अब इस खिलाड़ी के पास संन्यास के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है। आइए जानते हैं कौन है ये खिलाड़ी, जो Lords Test के बाद अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट को अलविदा कह सकता है।…
Lords Test के साथ खत्म होगा करियर
भारत और इंग्लैंड के बीच लॉर्ड्स में खेला जा रहा मौजूदा टेस्ट मुकाबला दोनों टीमों के लिए अहम है। एजबेस्टन में शुभमन गिल की अगुवाई वाली टीम की जीत के बाद श्रृंखला 1-1 की बराबरी पर आ गई है। इसके बाद अगर टीम को बढ़त हासिल करनी है तो उसे तीसरा टेस्ट हर हाल में जीतना होगा।
इस रोमांचक मैच के साथ ही एक ऐसे भारतीय क्रिकेटर का करियर भी समाप्त हो रहा है, जिसने अपनी प्रतिभा की झलक तो दिखाई लेकिन अवसर न मिलने के कारण उसका अंतरराष्ट्रीय सफर सिर्फ छह मैचों तक ही सीमित रह गया। ऐसे में अब इस खिलाड़ी के पास संन्यास के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है। आइए जानते हैं कि कौन है ये क्रिकेटर…
Lords Test:9 साल में सिर्फ 6 मैच खेलने वाला खिलाड़ी करेगा संन्यास का ऐलान
टीम इंडिया की टेस्ट जर्सी पहनना हर क्रिकेटर का सपना होता है, लेकिन कुछ के लिए यह सपना बहुत छोटा, बेहद संक्षिप्त और कभी-कभी तकलीफदेह भी साबित होता है। ऐसा ही एक नाम है जयंत यादव का। दाएं हाथ के स्पिनर ने 2016 में इंग्लैंड के खिलाफ टेस्ट डेब्यू किया और अपने तीसरे ही टेस्ट में शतक भी जड़ दिया था।
वानखेडे में इंग्लैंड के खिलाफ निचले क्रम में बल्लेबाजी करते हुए उन्होंने 104 रन बना दिए थे, जिसकी बदौलत उन्होंने सुनील गावस्कर के एक विशेष क्लब में एंट्री की। उन्होंने एक ही टेस्ट में 9वें नंबर पर बल्लेबाजी करते हुए शतक और 3 विकेट लेने का कारनामा किया था। इसके चलते वह अपनी गेंदबाजी के साथ-साथ बल्लेबाजी से भी सबको प्रभावित करने में सफल रहे।
Lords Test: इंग्लैंड के खिलाफ रचा था इतिहास
जयंत यादव का करियर शुरू में काफी उम्मीदों भरा लग रहा था। उन्होंने दिखाया कि वह निचले क्रम में बल्लेबाजी कर सकते हैं और एक उपयोगी ऑफ स्पिनर भी हैं। हालांकि, रविचंद्रन अश्विन और रवींद्र जडेजा जैसे स्थापित स्पिनरों की मौजूदगी और चोटों ने उनके रास्ते में रोड़े अटकाए। 2017 के बाद उन्हें टेस्ट टीम से बाहर कर दिया गया।
हालांकि, उन्होंने घरेलू क्रिकेट में लगातार अच्छा प्रदर्शन जारी रखा। उनकी निरंतरता का ही परिणाम था कि उन्हें 2022 में श्रीलंका के खिलाफ बेंगलुरु टेस्ट के लिए एक बार फिर मौका मिला, लेकिन वह अपने प्रदर्शन से छाप छोड़ने में नाकाम रहे। तब से लेकर Lords Test तक उन्हें भारतीय टीम में वापसी का कोई मौका नहीं मिला।
Lords Test: लंबे समय से नहीं मिल रही है टीम इंडिया में जगह
टीम इंडिया में लंबे समय से नजरअंदाज किए जाने के बाद अब जयंत यादव के अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास लेने की अटकलें तेज हो गई हैं। उनके इस फैसले के पीछे एक अहम वजह यह मानी जा रही है कि वह अब लीजेंड्स लीग क्रिकेट और दुनिया भर की विभिन्न विदेशी टी20 फ्रेंचाइज़ी लीग्स में खेलने की योजना बना रहे हैं। कयास लगाए जा रहे हैं कि लॉर्ड्स टेस्ट (Lords Test) के बाद वह क्रिकेट को अलविदा कह सकते हैं।
लेकिन भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) की सख्त नीति के तहत कोई भी सक्रिय भारतीय खिलाड़ी इन विदेशी लीग्स का हिस्सा नहीं बन सकता। ऐसे में जयंत के पास एकमात्र रास्ता यही है कि वह भारतीय क्रिकेट से औपचारिक रूप से संन्यास की घोषणा करें, ताकि वे इन लीग्स में स्वतंत्र रूप से भाग ले सकें।
Lords Test: शानदार रहा है घरेलू क्रिकेट करियर
जयंत यादव का क्रिकेट करियर एक संतुलित ऑलराउंडर की मिसाल है, जिन्होंने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सीमित लेकिन घरेलू क्रिकेट में प्रभावशाली प्रदर्शन किया। टेस्ट क्रिकेट में उन्होंने 6 मैचों में 16 विकेट लिए और 248 रन बनाए, जिसमें एक शानदार शतक भी शामिल रहा, जबकि उनका गेंदबाज़ी औसत 29।06 और बल्लेबाज़ी औसत 31।00 रहा। वनडे में उन्होंने 2 मैचों में 1 विकेट लिया और 3 रन बनाए।
फर्स्ट क्लास क्रिकेट में जयंत ने 90 मैचों में 265 विकेट चटकाए, जिसमें 15 बार पांच विकेट और 2 बार दस विकेट लेने का कारनामा शामिल है, वहीं बल्लेबाज़ी में उन्होंने 2924 रन बनाए जिसमें 3 शतक और 14 अर्धशतक भी शामिल हैं।
लिस्ट ए क्रिकेट में उन्होंने 67 मैचों में 62 विकेट लिए और 961 रन बनाए, जबकि टी20 फॉर्मेट में उन्होंने 88 मैचों में 52 विकेट चटकाए और 388 रन भी जोड़े। उनके घरेलू आंकड़े दर्शाते हैं कि वे एक भरोसेमंद स्पिन ऑलराउंडर रहे हैं, जिन्होंने टीम को गेंद और बल्ले दोनों से संतुलन देने का काम बखूबी किया है।
ऐसा रहा है करियर
फॉर्मेट | मैच | विकेट | BBI | BBM | गेंदबाज़ी औसत | इकॉनमी | बेस्ट बैटिंग | रन | बैटिंग औसत | 100s/50s | कैच |
---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|
टेस्ट | 6 | 16 | 4/49 | 5/62 | 29।06 | 3।38 | 104 | 248 | 31।00 | 1/0 | 3 |
ODI | 2 | 1 | 1/8 | 1/8 | 61।00 | 4।35 | 2 | 3 | 3।00 | 0/0 | 0 |
FC | 90 | 265 | 7/58 | 13/154 | 30।94 | 3।21 | 211 | 2924 | 24।77 | 3/14 | 41 |
List A | 67 | 62 | 3/21 | 3/21 | 33।29 | 4।01 | 71 | 961 | 23।43 | 0/5 | 27 |
T20s | 88 | 52 | 4/22 | 4/22 | 32।63 | 6।33 | 39 | 388 | 14।92 | 0/0 | 40 |
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मानवी नौटियाल एक उत्साही और अनुभवी स्पोर्ट्स जर्नलिस्ट हैं, जिन्हें खेलों की दुनिया से गहरा लगाव है।... रीड मोर