T20 World cup 2021 के बाद टीम इंडिया के पूर्व कोच रवि शास्त्री (Ravi Shastri) और उनके सपोर्ट स्टाफ का कार्यकाल समाप्त हो गया. शास्त्री ने इस अनुबंध को आगे बढाने में कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई.
जिसके बाद पूर्व दिग्गज क्रिकेटर और एनसीए के हेड रह चुके राहुल द्रविड़ (Rahul Dravid) को टीम का नया कोच बनाया गया. सभी टीम में कुछ खिलाड़ी अपने कोच के काफी नजदीक होते हैं. जिस खिलाड़ी की प्रतिभा पर कोच को पूरा विश्वास होता है और उसे टीम में लगातार मौके मिलते हैं.
लेकिन कुछ खिलाड़ी अपने कोच का भरोसा जीतने में कामयाब नहीं हो पाते हैं और उन्हें अच्छे प्रदर्शन के वाबजूद टीम से बाहर रहना पड़ता है. आज के इस आर्टिकल में हम आपको ऐसे ही 3 भारतीय खिलाड़ियों के बारे में बाताएंगे, जो अपने शानदार प्रदर्शन के बावजूद पूर्व कोच रवि शास्त्री का विश्वास नहीं जीत पाए. लेकिन अब राहुल द्रविड़ (Rahul Dravid) के टीम के कोच बनने के बाद उनके लिए वापसी के दरवाजे खुल गए हैं.
Rahul Dravid के कोचिंग कार्यकाल में इन्हें मिलेंगे लगातार मौके
1. पृथ्वी शॉ
साल 2016 के अंडर-19 वर्ल्ड कप में भारतीय टीम को ट्राफी दिलाने वाली टीम के कप्तान थे मुंबई के युवा बल्लेबाज पृथ्वी शॉ (Prithvi Shaw). पृथ्वी ने उसके 2 साल बाद वेस्टइंडीज के खिलाफ भारतीय टीम के लिए अपना टेस्ट डेब्यू किया. पृथ्वी ने अपने पहले ही टेस्ट मैच में शानदार शतकीय पारी खेली. लेकिन डेब्यू करने के 3 साल बाद भी मुंबई का यह युवा बल्लेबाज केवल 5 टेस्ट मैच ही खेल पाया है.
पृथ्वी को टीम में नियमित मौके नहीं पाए है. हालाँकि अब राहुल द्रविड़ (Rahul Dravid) के कोच बनने के बाद से उनके लिए वापसी के दरवाजे पुरी तरह से खुल गए है. पृथ्वी और द्रविड़ के बीच काफी अच्छी समझ है. पृथ्वी द्रविड़ के कोचिंग में अंडर-19 वर्ल्ड कप की ट्राफी भी जीत चुके हैं.