भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड यानी BCCI ने एक बड़ा फैसला लिया है. वह खिलाड़ियों के लिए बायो बबल खत्म करने जा रही है. आईपीएल 2022 बायो बबल में खेली जाने वाली अंतिम प्रतियोगिता थी. इसके बाद भारतीय खिलाड़ियों को बायो बबल के कड़े प्रोटोकॉल में नहीं रहना पड़ेगा. लेकिन अब सवाल यह उठता है कि क्या BCCI ने बायो बबल हटाने का फैसला जल्दी तो नहीं ले लिया? क्योंकि, कोरोना महामारी भारत से पूरी तरह से खत्म नहीं हुई है.
BCCI हटा रही है बायो बबल
कोरोना महामारी के चलते बीसीसीआई को काफी चुनौतियों का सामना करना पड़ा था. जिसमें खिलाड़ियों के संक्रमित होने का खतरा मंडरा रहा था. उससे बचने के लिए बीसीसीआई को रणजी ट्रॉफी को भी टालना पड़ा था. वहीं उनके इस फैसले से राज्य इकाईयों ने नाराजगी जाहिर की थी. जिसके बाद बीसीसीआई ने रणजी ट्रॉफी जैसे टूर्नामेंट को दो चरणों में कराने का फैसला लिया.
आईपीएल 2022 का पूरा टूर्नामेंट बायो बबल में खेला गया. उसके बावजूद भी दिल्ली के कई खिलाड़ी कोरोना की की चपेट में आ गए थे. वहीं BCCI के सचिव जय शाह ने टीओआई को दिए एक इंटरव्यू में कहा था कि हम बायो बबल हटाने जा रहे हैं.
IND vs SA के बीच होने वाली टी-20 सीरीज बायो बबल मुक्त होगी. जय शाह से कई खिलाड़ियों ने बताया कि बायो बबल के चलते उन्हें मानसिक थकावट हो रही है. जिसके बाद ने उन्होंने बायो बबल हटाने का फैसला लिया है.
क्या अब खिलाड़ी नहीं होंगे कोरोना संक्रमित ?
एक समय था जब पूरी दुनिया में कोरोना वायरस की वजह से हाहाकार मचा हुआ था. कोरोना जैसी भयंकर महामारी से पूरी दुनिया थम सी गई थी. वहीं भारत भी इसकी चपेट में हा गया था. 6 महीने तक सभी खेलों की तरह क्रिकेट पर भी विराम लग गया था. जिसके बाद एक बार फिर क्रिकेट की गाड़ी पटरी पर लौट चुकी है. अब ऐसे में बीबीसीआई ने बिना बायो बबल के भारत में इंटरनेशनल क्रिकेट खेलने का फैसला किया.
भारतीय खिलाड़ियों को आईपीएल 2022 के पूरे टूर्नामेंट में बायो बबल के प्रोटोकॉल से गुजरना पड़ा. जिसमें खिलाड़ियों के जीवन शैली पर असर पड़ता है. खिलाड़ियों की कंडीशंस को समझते हुए बीसीसीआई ने ये बड़ा फैसला लिया है.
BCCI के फैसले के हो सकते हैं ये साइडइफैक्ट
बीसीसीआई सचिव जय शाह पहले इस बात को क्लियर कर चुके हैं. बायो बबल हटाने का उद्देश्य केवल इतना ही है कि खिलाड़ियों के मानसिक तनाव को कम किया जाए. क्योंकि, जब प्लेयर्स लगातार बायो बबल में रहते हैं तो, उनपर कई तरह की पाबंदियां होती हैं जैसे, खिलाड़ी किसी भी बाहरी व्यक्ति से मिल नहीं पाते, यहां तक कि वह अपने परिवार से भी दूर रहते हैं. जिससे उनकी जीवन शैली पर बुरा असर पड़ता है.
क्या बायो बबल हटने के बाद खिलाड़ी अपने आप को संक्रमण से सुरक्षित रख पाएंगे? बिना बबल के खिलाड़ी अपनी मर्जी से कही भी आ जा सकेंगे, यह बात तो बिल्कुल तय है. जिसकी वजह से वह संक्रमण का शिकार भी हो सकते हैं. अगर वह इस दौरान टीम के साथ जुड़े रहते हैं तो, चुनौती और बढ़ सकती है. हालांकि अब बीसीसीआई ने फैसला लिया है, तो यकीनन काफी विचार-विमर्श करके ही लिया होगा। ऐसे में अब देखने वाली बात होगी कि आगे BCCI के इस फैसले के क्या फायदे और नुकसान होते हैं।
कोरोना की चपेट में आ चुका है BCCI का दफ्तर
वैश्विक महामारी कोरोना से मुंबई का BCCI का दफ्तर भी प्रभावित हुआ था. जिसमें दो से तीन स्टाफ पॉजिटिव पाए जाने के बाद 2 दिन के लिए ताला लगाना पड़ा था. वहीं आईपीएल 2020 के दौरान दिल्ली के खिलाड़ी भी कोरोना संक्रमण के शिकार हुए थे.
अब BCCI बायो बबल के हटाने जा रहा है. ऐसे में खिलाड़ी पूरी तरह से आजाद होंगे. उन्हें किसी तरह के प्रोटोकॉल का सामना नहीं करना पड़ेगा. जबकि भारत से कोरोना पूरी तरह से समाप्त नहीं हुआ है.
बुधवार को एनडीटीवी की रिपोर्ट के अनुसार भारत में पिछले चौबीस घंटे के दौरान COVID-19 के 2338 नए मामले दर्ज किए गए हैं. क्या ऐसे में आप बीसीसीआई के बायो बबल हटाने का समर्थन करते हैं या फिर उनके इस फैसले को जल्दबाजी करार देना चाहेंगे. इस सवाल का जबाव आपको स्वयं खोजना है.