वर्ल्ड कप विजेता श्रीलंका के पूर्व कप्तान Arjuna Ranatunga के खिलाफ कोर्ट ने लिया बड़ा एक्शन, ठोका इतने करोड़ का जुर्माना∼
श्रीलंका टीम के वर्ल्ड कप विजेता कप्तान अर्जुन रणतुंगा (Arjuna Ranatunga) ने मान-हानि के 20 साल पुराने मामले में बुरी तरह से फंस गए हैं. सालों बाद कोर्ट ने उन्हें बड़ा झटका दिया है. इस केस में श्रीलंका क्रिकेट के भूतपूर्व चीफ थिलंगा सुमतिपाला (Thilanga Sumathipala) को जीत मिली है. जबकि अर्जुन रणतुंगा के खिलाफ कोर्ट ने फैसला सुनाते हुए उन पर करोड़ों का जुर्माना ठोका है. आखिर क्या है ये पूरा मामला आइये जानते हैं.
कौन हैं Arjuna Ranatunga? जिन पर लगा जुर्माना
मान-हानि का मामला समझने से पहले यह समझना सबसे पहले जरूरी है अर्जुन रणतुंगा (Arjuna Ranatunga) कौन हैं? जिन पर यह तगड़ा जुर्माना लगा है. तभी आपको इस मामले को समझने में आसानी होगी. रणतुंगा श्रीलंका टीम के वर्ल्ड कप विजेता कप्तान रहे हैं. वे 1996 के 50 ओवर क्रिकेट लकाई टीम को अपनी कप्तानी में वर्ल्ड कप विजेता बनाया.
साल 1999 वर्ल्ड कप में भी वही कप्तान थे पर श्रीलंका पहले ही राउंड में बाहर हो गया. हालाकि उन्होंने 93 टेस्ट और 269 वनडे इंटरनेशनल खेलने से भी बड़ा रिकॉर्ड उनके नाम किए हैं. जिसके बाद उन्होंने क्रिकेट से रिटायरमेंट लेने के बाद राजनीति में अपनी दूसरी पारी का आगाज किया.
इस वजह से लगा 70 हजार डॉलर का जुर्माना?
जब रणतुंगा खेलते थे तब भी बोर्ड से उनका उलझना कोई बड़ी बात नहीं थी, क्योंकि अपने देश के लिए खेलते हुए अपनी टीम कमियां उजागर करना एक खिलाड़ी का दायित्व बनता है, लेकिन रिटायमेंट लेने के बाद जब कोई खिलाड़ी किसी राजनीतिक पार्टी से जुड़ जाता है तो उस खिलाड़ी के बयान के मायने पूरी तरह से बदल जाते हैं. अब सीधा अपने मुद्दे पर आते हैं. इस केस को मान-हानी केस को समझने के लिए हम 20 साल पीछे यानी साल 2003 में जाना पड़ेगा.
अर्जुन रणतुंगा पर 70 हजार डॉलर का जुर्माना क्यों लगा? इसके पीछे उनका विवादस्पत बयान है जो उन्होंने साल 2003 में श्रीलंका क्रिकेट के भूतपूर्व चीफ थिलंगा सुमतिपाला (Thilanga Sumathipala) पर दिया था. उन्होंने अपने इस बयान पर सुमतिपाला कई गंभीर आरोप लगाए थे और बात यहीं तक नहीं थमी.
अर्जुन रणतुंगा ने कहा था कि थिलंगा सुमतिपाला भ्रष्ट थे और देश के क्रिकेट बोर्ड को चलाने के लिए अनफिट और सुमतिपाला गैंबलिंग में शामिल हैं. इस मामले को कई बार सुझाने की कोशिश की गई लेकिन दोनों पार्टियां किसी बात सुनने को राजी नहीं थी. इस केस अर्जुन रणतुंगा को मिली हार के बाद कोर्ट ने 70 हजार डॉलर का जुर्मानास लगा दिया.
इस केस के तार भारत से जुड़कर क्यों देखे जाते हैं?
इस केस में कई बार राजनीति रंग दिया. क्योंकि पहले तो मामला श्रीलंका में अंदरूनी लड़ाई था और सब जानते थे श्रीलंका क्रिकेट के ऑफिस पर कंट्रोल की लड़ाई है, लेकिन बाद में इस मामले ने एक विकराल रूप ले लिया.
जा हां बात इतनी आगे बढ़ गई कि अर्जुन रणतुंगा ने 2011 वर्ल्ड कप फाइनल में भारत से हारने वाली श्रीलंकाई टीम की 'ईमानदारी' पर शक जाहिर कर दिया, लेकिन उन्होंने खुलकर अपनी बात नहीं कहीं लेकिन उन्होंने इशारों ही इशारों में खिलाड़ियों पर सीधे आरोप लगा डाले.
इस केस भारत के तार इसलिए जोड़े जाते हैं कि अगस्त, साल 2017 में टीम इंडिया लंका के दौरे पर थी. जहां तीन मैचों की टेस्ट सीरीज खेली गई. पहला टेस्ट- भारत की 304 रन से जीत मिली दूसरा टेस्ट- भारत की पारी और 53 रन से जीत मिली. जिसके आरोप लगे इन दो टेस्ट के बाद पर तीसरे टेस्ट में भी श्रीलंका टीम पारी और 171 रन के बड़े अंतर से हार का सामना करना पड़ा
अर्जुन रणतुंगा ने बोर्ड चीफ थिलंगा सुमतिपाला पर आरोप लगाते हुए कहा था कि गैंबलिंग में शामिल है और आईसीसी से उनकी जांच की मांग की. साथ उरणतुंगा ने आईसीसी को चेतावनी देते हुए यह तक कह डाला था किआईसीसी में ऐसी जांच करने का दम नहीं है.
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