टेस्ट और वनडे में दिग्गजों की लिस्ट में शामिल हैं ये खिलाड़ी, नहीं मिला 1 भी टी-20 खेलने का मौका
Published - 22 Aug 2020, 12:42 PM

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टेस्ट फॉर्मेट से शुरु हुआ क्रिकेट वनडे व टी20 फॉर्मेट में खेला जाता है। मगर इस बात में कोई दोराय नहीं है कि लिमिटेड ओवर क्रिकेट के आने के बाद से टेस्ट क्रिकेट के प्रति लोगों की रुचि कम होती दिखी है। बल्कि बात तो ये भी है कि टी20 फॉर्मेट के आने के बाद से वनडे क्रिकेट भी अपना रुतबा खो रहा है।
असल में टेस्ट क्रिकेट में जहां एक तरफ फैंस को लगातार 5 दिन तक रोमांचक क्रिकेट देखते हुए रिजल्ट का इंतजार करना होता है। लेकिन लिमिटेड ओवर क्रिकेट में ऐसा नहीं होता और टी20 क्रिकेट में तो फटाफट खिलाड़ी चौके-छक्कों की बरसात करते हैं और जल्दी ही परिणाम भी सामने आ जाते हैं। फैंस ही नहीं बल्कि क्रिकेटर्स का रुझान भी टी20 फॉर्मेट की तरफ झुकता दिख रहा है।
मगर क्रिकेट के गलियारों में कई ऐसे दिग्गज खिलाड़ी मौजूद रहे, जिन्होंने टेस्ट व वनडे क्रिकेट में टीम के लिए जमकर रन बनाए। लेकिन उन्हें टी20आई क्रिकेट खेलने का मौका नहीं मिल सका।
इन 5 दिग्गज खिलाड़ियों को नहीं मिला टी20 फॉर्मेट में खेलने का मौका
1- दिमुथ करुणारत्ने
अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपने टेस्ट व वनडे क्रिकेट में नाम कमाने वाले श्रीलंकाई क्रिकेटर दिमुथ करुणारत्ने भी उन खिलाड़ियों की लिस्ट में शामिल हैं जिन्हें कभी टी20 आई क्रिकेट में कभी खेलने का मौका नहीं मिल सका। इतना ही नहीं इस लिस्ट में करुणारत्ने एकमात्र क्रिकेटर हैं जो अभी भी क्रिकेट के मैदान पर उतरते नजर आते हैं।
31 वर्षीय इस खिलाड़ी ने 62 में से 121 इनिंग्स में बल्लेबाजी करते हुए 36.93 के औसत से 4321 रन अपने नाम किए हैं। जिसमें 9 शतक और 23 अर्धशतक शामिल हैं। इस फॉर्मेट में इनका सर्वश्रेष्ठ 196 है।
वनडे में दिग्गज ने 28 मैचों की 24 इनिंग्स में बल्लेबाजी करते हुए 26.64 के औसत से 4 अर्धशतकों समेत 586 रन अपने नाम किए हैं। इस श्रीलंकाई कप्तान ने आज तक टी 20 फॉर्मेट में डेब्यू नहीं किया है।
2- वीवीएस लक्ष्मण
भारतीय क्रिकेट टीम के महान बल्लेबाज वीवीएस लक्ष्मण का नाम भी उन खिलाड़ियों की लिस्ट में शामिल हैं, जिनके नाम टेस्ट व वनडे क्रिकेट में बड़े-बड़े रिकॉर्ड्स दर्ज हैं, लेकिन उन्हें टी20 आई क्रिकेट में खेलने का मौका नहीं मिल सका।
2011 में लक्ष्मण को भारत के चौथे सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार पद्मश्री पुरस्कार से नवाजा गया। दिग्गज खिलाड़ी ने 1996 में साउथ अफ्रीका के खिलाफ टेस्ट डेब्यू किया था और आखिरी मैच 2012 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ खेला था।
वहीं वनडे में इन्होंने 1998 में जिम्बाम्बे के खिलाफ डेब्यू किया और आखिरी मैच 2006 में साउथ अफ्रीका के खिलाफ आखिरी मैच खेला। आकंड़ों की बात करें, तो वनडे में इस दिग्गज खिलाड़ी के नाम 83 परियां में 30.76 के औसत से 2338 रन दर्ज हैं। वहीं दूसरी ओर टेस्ट मैच में इन्होंने 224 परियां खेली, जिसमें 45.5 के औसत से 8781 रन बनाए। साथ ही आईपीएल में भी वीवीएस ने अपना जलवा दिखा, लेकिन फिर भी उन्हें टी20 आई क्रिकेट खेलने का मौका नहीं मिल सका।
3- चेतेश्वर पुजारा
राहुल द्रविड़ को द वॉल के नाम से जाना जाता था। लेकिन द्रविड़ के बाद उनकी जगह चेतेश्वर पुजारा ने पूरी कर दी और उन्हें विश्व क्रिकेट में नई दीवार या न्यू वॉल के नाम से पहचाना जाता है। इसका कारण यही है कि यदि पुजारा एक बार क्रीज पर सेट हो गए तो उन्हें आउट करने में विपक्षी गेंदबाजों के पसीने छूट जाते हैं।
2010 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ डेब्यू करने के बाद अब तक चेतेश्वर पुजारा ने 70 टेस्ट मैचों की 118 इनिंग्स में बल्लेबाजी की है। जिसमें उन्होंने 49.87 के औसत से 5486 रन बनाए हैं। टेस्ट में भारतीय क्रिकेट टीम को मजबूती देने वाले इस खिलाड़ी ने टी20 में आज तक एक भी टी 20 मैच नहीं खेला।
चेतेश्वर पुजारा को टी20 ही नहीं बल्कि भारत की वनडे टीम में शामिल नहीं किया जाता है। जी हां, टेस्ट में ढ़ेरों सफलता हासिल करने वाले पुजारा को 5 वनडे मैच खेलने का मौका दिया गया था, लेकिन पुजारा 51 रन बनाए। परिणामस्वरूप वह अपनी काबिलियत साबित करने में नाकामयाब रहे। ये कहना गलत नहीं होगा कि पुजारा को इसी वजह से सीमित ओवर टीम में शामिल नहीं किया जाता है।
4- ब्रायन लारा
वेस्टइंडीज क्रिकेट टीम के दिग्गज कप्तान ब्रायन लारा ने टेस्ट करियर में 400 रन का आंकड़ा छूने का कारनामा किया। इसके अलावा भी टेस्ट में लारा के नाम तमाम बड़े रिकॉर्ड्स दर्ज हैं।
दिग्गज ने 131 टेस्ट मैचों में 52.89 के औसत से 11953 रन बनाए जिसमें 48 अर्धशतक, 34 शतक और 9 दोहरे शतक शामिल रहे। लारा का हाईएस्ट स्कोर 400 रन रहा। वहीं लारा ने 289 पारियों में 40.17 के औसत से 10405 रन अपने नाम किए। जिसमें 63 अर्धशतक और 19 शतकीय पारियां शामिल रही। लारा ने 2006 में टेस्ट और 2007 में अपने एकदिवसीय करियर को अलविदा कह दिया।
लारा को कभी भी टी20 आई क्रिकेट खेलने का मौका नहीं मिला। हालांकि लारा ने घरेलू स्तर पर 3 टी20 आई मैच खेले, जिसमें 33 के औसत से 99 रन बनाए। असल में लारा टेस्ट स्पेशलिस्ट बल्लेबाज थे।
5- सौरव गांगुली
टीम इंडिया के पूर्व कप्तान सौरव गांगुली भी उन खिलाड़ियों की लिस्ट में शुमार हैं जिन्होंने टेस्ट व वनडे क्रिकेट में टीम के लिए खूब रन बनाए लेकिन उन्हें अंतरराष्ट्रीय स्तर पर टी20 आई क्रिकेट खेलने का मौका नहीं मिल सका।
पूर्व कप्तान अपनी निडर पारियों के लिए विश्व क्रिकेट में काफी मशहूर रहे। गांगुली ने 1996 में इंग्लैंड के खिलाफ डेब्यू कर 188 टेस्ट पारियां खेलते हुए 42.18 के औसत से 7212 रन बनाए थे। वहीं 1992 में वेस्टइंडीज के खिलाफ वनडे डेब्यू कर 300 वनडे पारियां खेलते हुए 40.73 के औसत से 11363 रन अपने नाम किए थे।
गांगुली ने आईपीएल में 59 मैच खेले, लेकिन उन्हें कभी टी20 आई क्रिकेट में खेलने का मौका नहीं मिला। इसी के साथ 2007 में पाकिस्तान के खिलाफ आखिरी वनडे और 2008 में आखिरी टेस्ट मैच खेलते हुए अपने क्रिकेट करियर को अलविदा कह दिया। मगर वह 2008 से 2012 तक आईपीएल में खेलते नजर आए।