5 क्रिकेटर जिन्होंने दो देशो के लिए खेला फिर हासिल किया क्रिकेट जगत में कामयाबी

Published - 11 Jul 2020, 03:54 PM

खिलाड़ी

विश्व भर में लगातार अपनी लोकप्रियता बढ़ाने वाले क्रिकेट के खेल में बहुत ही अनिश्चितताएं हैं. इस खेल में अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर अपने देश का प्रतिनिधित्व कर पाना किसी भी खिलाड़ी के लिये एक बड़े सपने जैसा है. कुछ ही खिलाड़ी अपने इस विराट सपने को पूरा कर पाते हैं.

हालांकि अधिकांश खिलाड़ियों का सपना गलियों, मैदानों में और स्टेडियम से पहले दम तोड़ देता है. कई ऐसे भी खिलाड़ी होते हैं राज्य स्तर पर, राष्ट्रीय स्तर पर खेल जाते हैं. लेकिन अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर खेल पाने का सपना सच नहीं हो पाता. भारत जैसे देश में तो यह प्रतिस्पर्धा इतनी अधिक है कि कई बार चोटिल होने के बाद टीम से बाहर गया खिलाड़ी कई सालों बाद बड़ी मुश्किल से टीम में जगह बना पाता है.

कई खिलाड़ी तो बिना वापसी के संन्यास ले लेते हैं. हालांकि क्रिकेट के इतिहास में कुछ ऐसे भी खिलाड़ी हुए हैं जिन्होंने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर एक नहीं बल्कि 2 अलग-अलग देशों के लिए मैच खेलने का कारनामा किया है. आइये एक नजर डालते हैं उन 5 खिलाड़ियों पर जिन्होंने इंटरनेशनल क्रिकेट में एक नहीं 2 देशों के लिये मैच खेला है.

5. वैन डेर मर्व ( दक्षिण अफ्रीका-नीदरलैंड )

दो देशों के लिए क्रिकेट खेलने वाली इस लिस्ट में पांचवें नंबर पर दक्षिण अफ्रीका के पूर्व प्रतिभाशाली ऑलराउंडर वैन डेर मर्व हैं. मर्व का जन्म जोहान्सबर्ग, दक्षिण अफ्रीका में हुआ था. आपको बता दें कि वैन डेर मर्व ने दक्षिण अफ्रीका के लिए काफी समय तक अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट खेला.

मर्व दक्षिण अफ्रीका के लिए 13 वनडे और 13 टी-20 मैच खेल चुके हैं. उन्होंने टी20 में दक्षिण अफ्रीका के लिए अपना पर्दापण 29 मार्च 2009 को ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ किया. उन्होंने दक्षिण अफ्रीका के लिए 13 टी20 मैचों में 14 विकेट हासिल किए.

इसके बाद टीम में लगातार जगह ना मिलने के कारण मर्व नीदरलैंड चले गए और वहां जाकर नीदरलैंड की टीम को ज्वाइन किया. नीदरलैंड के लिए मर्व ने 12 टी20 मैच खेले और 17 विकेट हासिल किए. उनका सर्वश्रेष्ठ बॉलिंग प्रदर्शन 3 रन पर 2 विकेट रहा. उन्होंने नीदरलैंड के लिए टी20 में 154 रनों का भी योगदान दिया है.

4. इयोन मोर्गन ( आयरलैंड-इंग्लैंड )

आज इयोन मोर्गन वनडे और टी20 में इंग्लैंड टीम के कप्तान हैं. बाएं हाँथ का यह दिग्गज बल्लेबाज दुनिया भर में इंग्लैंड क्रिकेट की अगुवाई करता है. मगर हैरानी की बात ये कि मोर्गन असल में इंग्लैंड के नहीं हैं. दरअसल वो पड़ोसी देश आयरलैंड से हैं. मॉर्गन आयरलैंड में ही पैदा हुए, पढ़े-बढ़े औऱ वहीं पर क्रिकेट खेलना सीखा. आयरलैंड के लिए अंडर-15, अंडर-17 औऱ अंडर-19 के साथ-साथ राष्ट्रीय टीम के लिए कुछ वनडे भी खेले.

उन्होंने वनडे क्रिकेट में पर्दापण 5 अगस्त 2006 को स्कॉटलैंड के खिलाफ किया था. आपको जानकार हैरानी होगी कि मॉर्गन आयरलैंड की 2007 विश्व कप टीम का हिस्सा भी थे. जिसने उस विश्व कप में इंग्लैंड को हराकर बड़ा उलटफेर किया था. आयरलैंड के लिये मोर्गन ने कुल मिलकर 23 वनडे मैच खेले हैं. उन्होंने आयरलैंड के लिए 23 वनडे खेले. जिसकी 23 पारियों में 35.42 की औसत से 744 रन अपने बनाए. इस बीच उन्होंने 1 शतक व 5 अर्धशतक भी अपने नाम किये.

हालांकि करियर में कुछ बड़ा मौका न मिलता देख उन्होंने साल 2009 में इंग्लैंड का रुख किया. साल 2015 में परफॉर्मेंस अच्छी रही तो फिर इंग्लैंड की वनडे और टी-20 टीम का भी हिस्सा हो गए. आज इंग्लैंड के लिए 16 टेस्ट मैच और 236 वनडे मैच खेलने के साथ-साथ इंग्लैंड को विश्वकप जिताकर अब टीम के सबसे सफल कप्तान बन चुके हैं.

3. ल्यूक रोंची ( न्यूजीलैंड-ऑस्ट्रेलिया )

न्यूजीलैंड में जन्में शानदार विकेटकीपर बल्लेबाज ल्यूक रोंची वर्तमान में न्यूज़ीलैंड की टीम से खेलते हैं. उन्होंने वनडे क्रिकेट में अपना पर्दापण 27 जून 2008 को वेस्टइंडीज के खिलाफ किया. आपको यह जानकार हैरानी होगी कि उन्होंने न्यूजीलैंड से पहले ऑस्ट्रेलिया की ओर से अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट खेला है.

ऑस्ट्रेलिया की ओर से उन्होंने 4 वनडे व 3 टी-20 मैच खेले. रोंची ने 4 वनडे की 2 पारियों में 38 की औसत से 76 रन बनाए. जब ऑस्ट्रेलिया की टीम में मैथ्यू वेड और टिम पेन विकेटकीपिंग की रेस में आगे निकल गये तब उन्होंने न्यूज़ीलैंड की ओर से खेलना शुरू कर दिया. ल्यूक रोंची का जन्म न्यूज़ीलैंड में हुआ है.

उन्होंने न्यूज़ीलैंड की ओर से अब तक 81 वनडे मैच खेले हैं. उन्होंने न्यूज़ीलैंड की ओर से वनडे की 66 पारियों में 1321 रन बनाए हैं. यह रन रोंची ने 23.17 की औसत से बनाये हैं. इस बीच उन्होंने 1 शतक व 3 अर्धशतक भी अपने नाम किये हैं. उन्होंने न्यूज़ीलैंड की ओर से 4 टेस्ट भी खेले जिसकी 8 पारियों में 319 रन बनाए.

2. डार्क नेनिस ( नीदरलैंड-ऑस्ट्रेलिया )

नीदरलैंड्स में पैदा हुए. आईपीएल में दिल्ली डेयरडेविल्स, रॉयल चैलेंजर्स बैंग्लोर और चेन्नई सुपरकिंग्स के लिए बतौर फास्ट बॉलर खेले. फिर वापिस नीदरलैंड्स की टी20 टीम में बुला लिए गए. आईसीसी टी20 विश्व कप के साल 2009 के एडिशन में नीदरलैंड की ओर से डेब्यू करने वाले इस खिलाड़ी ने अपने पहले ही मैच में काफी प्रभावित किया.

सिर्फ 1 मैच ही खेलने के बाद वह ऑस्ट्रेलिया की टीम के साथ जुड़ गये. जल्द ही ऑस्ट्रेलिया की टीम ने उन्हें अपनी सीमित ओवरों की टीम में शामिल किया. इस तेज गेंदबाज ने अपने छोटे से अंतरराष्ट्रीय करियर में ऑस्ट्रेलिया के लिए एक वनडे और 15 टी20 मैच खेले.

डार्क नेनिस ने 2010 में ऑस्ट्रेलिया के लिए आईसीसी वर्ल्ड टी20 की पन्द्रह सदस्सीय टीम में अपनी जगह बनायीं थी. ऑस्ट्रेलिया के लिए नैंस ने 15 टी20 और एक वनडे मैच खेला. अपने 15 टी20 मैचों में उन्होंने 27 विकेट लिए हैं. डर्क नैंस बायें हाथ के तेज गेंदबाज हैं.

1. इमरान ताहिर (पाकिस्‍तान-दक्षिण अफ्रीका)

विकेट झटकने के बाद अनोखे अंदाज में जश्‍न मनाने वाले लेग स्पिनर इमरान ताहिर इस समय किसी भी परिचय के मोहताज नहीं हैं. आपको शायद यह जानकार हैरानी होगी की ताहिर ने अंडर19 स्‍तर पर पाकिस्‍तान का प्रतिनिधित्‍व किया है. इसके बाद वो पाकिस्‍तान ए टीम का भी हिस्‍सा रहे हैं. चूंकि पाकिस्‍तान में बेहतरीन स्पिनर होने के कारण ताहिर को सीनियर स्‍तर पर मौका नहीं मिला.

इसके बाद ताहिर ने दक्षिण अफ्रीका का रूख किया. जहां हमेशा से अच्‍छे स्पिनरों की कमी रही है. ताहिर को दक्षिण अफ्रीका की ओर से 2011 वर्ल्‍ड कप में वनडे में डेब्‍यू का मौका मिला. इसके बाद से इस स्पिनर की किस्‍मत चमक गई. ताहिर एक साथ वनडे और टी20 में नंबर वन रैंकिंग पर काबिज होने वाले पहले गेंदबाज हैं.

वर्ल्‍ड कप में 40 साल के ताहिर दक्षिण अफ्रीका की ओर से सर्वाधिक विकेट लेने वाले गेंदबाज हैं. पिछले वर्ष वर्ल्‍ड कप से बाहर होने के बाद ताहिर ने वनडे क्रिकेट को बाय-बाय कह दिया था. जबकि क्रिकेट के सबसे छोटे फॉर्मेट में कुछ और समय तक उनके खेलने की उम्‍मीद है.

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