5 मौके जब दर्शकों के भड़कने से रूक गया था इंटरनेशनल मैच, एक मुकाबले के दौरान मैदान पर ही लग गई थी आग

Published - 26 Aug 2022, 04:50 PM

Cricket Facts - 5 Incidents when audience become violent

क्रिकेट (Cricket) विश्वभर में लोकप्रिय खेलों में से एक हैं, दुनिया के हर कोने में क्रिकेट (Cricket) के चाहने वाले मौजूद है। जिनकी वजह से इस खेल को बेशुमार प्यार दिया जाता है। जाहिर सी बात है दर्शकों के कारण ही क्रिकेट को ये मुकाम हासिल हुआ है, लेकिन कई बार दर्शकों के द्वारा की गई हरकतों के चलते खेल को बदनामी का सामना भी करना पड़ा है।

अब तक कई ऐसे मामले सामने आए हैं जहां जमीनी अधिकारियों के साथ मुद्दों या भीड़ के बीच अंदरूनी कलह ने लाइव मैच के दौरान दंग भड़का दिया हो। कारण जो भी हो, इन घटनाओं ने क्रिकेट के इतिहास पर एक दागदार छाप छोड़ी है। आइए भीड़ की हिंसा के कुछ कुख्यात उदाहरणों पर नज़र डालें, जिन्होंने एक मैच को नतीजे तक पहुंचने ही नहीं दिया।

1. ऑस्ट्रेलिया बनाम वेस्टइंडीज, किंगस्टन - 1978

एक क्रिकेट (Cricket) मैच को बाधित करने वाली भीड़ की हिंसा के सबसे प्रसिद्ध उदाहरणों में सबसे पहले साल 1978 में फ्रैंक वॉरेल ट्रॉफी के 5वें टेस्ट का जिक्र होना जरूरी है। किंग्स्टन के सबीना पार्क में वेस्टइंडीज और ऑस्ट्रेलिया के बीच खेले गए इस मैच में उग्र दर्शकों ने मुकाबले को नतीजे तक पहुंचने ही नहीं दिया था। दरअसल, ऑस्ट्रेलिया इस मैच में मेजबान टीम वेस्टइंडीज पर भारी पड़ती हुई नजर आ रही थी।

दूसरी पारी के समाप्ति के बाद कंगारुयों ने कैरिबियाई टीम को 369 रनों का लक्ष्य दिया था। जिसके जवाब में विंडीज ने मात्र 258 रनों के संयुक्त स्कोर पर 9 विकेट गंवा दिए थे। आउट होने वाले नौवें बल्लेबाज वैनबर्न होल्डर थे, उन्होंने अपने दस्ताने को अपने कूल्हे पर मारा, जिससे दर्शकों ने समझा की उन्हें गलत आउट दिया है। ये देखकर भीड़ उग्र हुई और मैदान में बोतल, पत्थर और कुर्सियां फेंकने लगे। जिसके चलते मैच को रद्द कर दिया था।

2. पाकिस्तान बनाम इंग्लैंड, कराची - 1969

साल 1969 में पाकिस्तान बनाम इंग्लैंड टेस्ट मैच (Cricket) के दौरान दुनिया ने कराची क्रिकेट स्टेडियम की उग्र भीड़ का नमूना देखा था। ये दोनों टीमों के बीच खेली गई टेस्ट सीरीज का तीसरा टेस्ट मैच था, इससे पहले लाहौर और ढाका में खेले गए मैचों के दौरान भी माहौल गरमाया हुआ था, इसके पीछे राजनीतिक तनाव भी बड़ा कारण माना जाता है।

मुकाबले में इंग्लैंड ने मैच के पहले 2 दिनों तक बल्लेबाजी करते हुए दूसरे दिन का खेल समाप्त होने तक 6 विकेट पर 412 पर पहुंच गया। तीसरे दिन की शुरुआत के साथ कुछ अप्रिय घटना की सुगबुगाहट के साथ मैच की शुरुआत हुई थी। एलन नॉट टेस्ट शतक से 4 रन पीछे थे, इस दौरान भीड़ ने दंगे का रूप ले लिया। जिसमें मुख्य रूप से छात्र शामिल थे, उन्होंने मैदान में कूद कर पिच को नष्ट कर दिया। जिसके बाद मैच को तत्काल प्रभाव से रोक दिया गया।

3. भारत बनाम वेस्टइंडीज, कोलकाता - 1967

WI vs IND

कोलकाता शहर को क्रिकेट के खेल का सबसे बड़ा प्रशंसक माना जाता है। लेकिन साल 1967 में ईडन गार्डन स्टेडियम में भारत और वेस्टइंडीज के बीच एक टेस्ट के दौरान शर्मसार कर देने वाली घटना सामने आई थी। उस दौर की सबसे शक्तिशाली टीम वेस्टइंडीज के साथ पहला टेस्ट जीतकर 1-0 की बढ़त लेने के बाद, दोनों टीमें कोलकाता में दूसरे टेस्ट मैच के लिए मिली थी।

टेस्ट के पहले दिन चीजें ज्यादा खराब नहीं हुईं, हालांकि, यह तूफान से पहले की शांति थी दूसरे दिन भीड़ के बैठने की स्थिति और भी खराब थी और सुरक्षा कर्मियों को लोगों पर लाठीचार्ज करने का ऑर्डर भी दिया गया। जिससे नाराज भीड़ ने मैदान की संपत्ति को नुकसान पहुंचाना शुरू कर दिया। हालात बेकाबू होने के चलते मुकाबले को रोक कर रक्षित दिन पर खेल को प्रारंभ किया गया।

4. इंग्लैंड बनाम पाकिस्तान, लीड्स - 2001

इंग्लैंड, ऑस्ट्रेलिया और पाकिस्तान के बीच खेली गई 2001 की नेटवेस्ट त्रिकोणीय श्रृंखला क्रिकेट के लिए कम और पिच आक्रमण के लिए अधिक चर्चा में रही। क्रिकेट (Cricket) के इतिहास को इस सीरीज के दौरान कभी नहीं भूलने वाला दागदार लम्हा भी दिया। जब मेजबान इंग्लिश टीम के समर्थकों ने पिच को नष्ट करने के लिए हमला कर दिया था।

मैच में पूर्व पाकिस्तानी तेज गेंदबाज वकार यूनिस के शानदार प्रदर्शन ने सुनिश्चित किया कि इंग्लैंड अपनी पारी में 156 से ज्यादा रन नहीं बना पाए। वहीं 157 रनों के लक्ष्य का पीछा करते हुए पाकिस्तान को किसी भी तरह की दिक्कत का सामना नहीं करना पड़ा। इससे पहले पाकिस्तानी टीम जीत की दहलीज पार कर पाती उससे पहले ही उग्र भीड़ ने मैदान में उतरकर पिच को खराब करना शुरू कर दिया।

5. भारत बनाम श्रीलंका, कोलकाता - 1996

विश्वकप 1996 के दौरान भारत और श्रीलंका के बीच सेमीफाइनल मुकाबला भी इस लिस्ट में अपनी जगह बनाता है। कोलकाता का ईडन गार्डन्स ही भारतीय क्रिकेट (Cricket) के इतिहास की सबसे शर्मनाक रातों का गवाह बना था। क्वार्टर फाइनल में चिर प्रतिद्वंद्वी पाकिस्तान के खिलाफ एक यादगार जीत से भारत श्रीलंका को हराकर अपने दूसरे विश्व कप फाइनल में जगह बनाने के पसंदीदा उम्मीदवार था। श्रीलंकाई पारी की शुरुआत में शानदार गेंदबाजी करने के बाद भारतीय गेंदबाजों ने ढील देकर बढ़त को खराब होने दिया और श्रीलंका ने भारत को 252 रन का लक्ष्य दिया।

सलामी बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर के शानदार 65 रन के बूते आसानी से लक्ष्य की ओर कूच कर रहे थे। 98 पर भारत ने सिर्फ 2 विकेट ही गंवाए थे, लेकिन इसके बाद लगातार अविश्वसनीय पतन के चलते सिर्फ 120 पर 8 विकेट गिर गए। इस खराब प्रदर्शन के बाद उकसाई भीड़ ने मैदान में आग लगाना शुरू कर दिया, जिसके बाद मैच को रोकना पड़ा, जिसके बाद पूर्व भारतीय खिलाड़ी के विनोद कांबली के आंखों से आंसू नहीं रुक पाए।

Tagged:

cricket Pakistan National Cricket Team Indian National Cricket team india under-19 vs srilanka under-19